उसी जज्बे के साथ बल्लेबाजी करना चाहता हूं, जैसे आईपीएल और रणजी ट्रॉफी में की: अजिंक्य रहाणे

अरुंडेल (पोर्ट्समाउथ): लगभग 18 महीने बाद भारतीय टीम में वापसी करने वाले सीनियर बल्लेबाज अजिंक्य रहाणे को बीते हुए समय को लेकर कोई खेद नहीं है और वह आस्ट्रेलिया के खिलाफ आगामी विश्व टेस्ट चैंपियनशिप फाइनल में उसी जज्बे के साथ बल्लेबाजी करना चाहते हैं जैसी उन्होंने आईपीएल में की थी. रहाणे ने भारत के अभ्यास सत्र से इतर बीसीसीआई टीवी से कहा कि  मैंने 18-19 महीनों के बाद वापसी की है. अच्छा या बुरा जो कुछ भी हुआ, मैं अपने अतीत के बारे में नहीं सोचना चाहता हूं. मैं नए सिरे से शुरुआत करना चाहता हूं और मैंने जो कुछ किया उसे जारी रखना चाहता हूं.

उन्होंने कहा कि मैंने निजी तौर पर चेन्नई सुपर किंग्स की तरफ से खेलने का पूरा आनंद उठाया क्योंकि पूरे सत्र में मैंने अच्छी बल्लेबाजी की. यहां तक कि आईपीएल से पहले घरेलू सत्र में भी मेरा प्रदर्शन अच्छा रहा और मैं अच्छा महसूस कर रहा हूं. इसलिए यह वापसी मेरे लिए थोड़ा भावनात्मक रही. आईपीएल चैंपियन चेन्नई का हिस्सा रहे रहाणे ने अपनी आक्रामक बल्लेबाजी के लिए काफी प्रशंसा बटोरी और वह इसी जज्बे के साथ आगे भी बल्लेबाजी करना जारी रखना चाहते हैं. उन्होंने कहा कि मैं उसी मानसिकता और जज्बे के साथ बल्लेबाजी करना चाहता हूं जैसा मैंने यहां आने से पहले आईपीएल और रणजी ट्रॉफी में की थी. मैं प्रारूप को लेकर नहीं सोचना चाहता हूं फिर चाहे वह टी20 हो या टेस्ट मैच. मैं अभी जिस तरह से बल्लेबाजी कर रहा हूं उसमें मैं चीजों को जटिल नहीं बनाना चाहता हूं. मैं चीजों को जितना सरल बना कर रखूंगा उतना ही मेरे लिए बेहतर होगा.

भारत की तरफ से अभी तक 82 टेस्ट मैचों में 4931 रन बनाने वाले रहाणे की अगुवाई में भारत ने 2021 में ऑस्ट्रेलिया में श्रृंखला जीती थी. उन्होंने वर्तमान कप्तान रोहित शर्मा के नेतृत्व कौशल की भी तारीफ की. उन्होंने कहा कि मेरा मानना है कि टीम संस्कृति बहुत अच्छी है. रोहित टीम को अच्छी तरह से संभाल रहे हैं और राहुल (मुख्य कोच राहुल द्रविड़) भाई भी वास्तव में टीम को अच्छी तरह से आगे बढ़ा रहे हैं. इससे भी मदद मिलती है और टीम का माहौल शानदार है. हर खिलाड़ी एक दूसरे के साथ का पूरा लुत्फ उठा रहा है. रहाणे ने अपने परिवार और दोस्तों का आभार व्यक्त किया जिन्होंने उनके राष्ट्रीय टीम से बाहर होने के दौरान उनका पूरा साथ दिया. उन्होंने कहा कि यह वास्तव में मेरे लिए भावनात्मक क्षण था. जब मैं टीम से बाहर किया गया तो मेरे परिवार का समर्थन बहुत मायने रखता था. भारत की तरफ से खेलना मेरे लिए बहुत मायने रखता है और मैंने अपनी फिटनेस पर बहुत ध्यान दिया और घरेलू क्रिकेट में खेलने लगा. मुझे पूरा विश्वास था कि मैं फिर से भारत की तरफ से खेल सकता हूं. सोर्स भाषा