जयपुर: निर्वाचन कार्य में लगे ईआरओ व अन्य अधिकारियों-कर्मचारियों की परीक्षा होती रही है. लेकिन अब निर्वाचन विभाग इससे एक कदम आगे बढ़कर एक नवाचार को अंजाम दे रहा है. इसके तहत अब निर्वाचन विभाग के कर्मचारियों को भी परीक्षा देनी होगी. इसमें निर्वाचन प्रक्रिया से सामान्य से लेकर खास जानकारी के बारे में सवालों के जवाब उन्हें देने होंगे ताकि वे खुद नियमों के बारे में जागरूक होकर आम लोगों को ज्यादा जागरूक कर सकें.
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आचार संहिता व अन्य नियम-कायदों की पालना सुनिश्चित कराने वाले निर्वाचन विभाग ने अब अपने कर्मचारियों की परख की तैयारी शुरू कर दी है. जी हां, प्रदेश में विधानसभा और लोकसभा के चुनाव कराने वाला निर्वाचन विभाग अब अपने कर्मचारियों की एग्जाम लेगा. जिसमें कर्मचारियों से मतदाता सूची में नाम जोड़ने, हटाने, नाम सुधरवाने, पता ठीक करवाने या नया इपिक कार्ड बनवाने के लिए क्या करना पड़ेगा, उसके लिए कौनसा फॉर्म भरना पड़ेगा ऐसे ही सवाल पूछे जाएंगे.
कर्मचारियों की एग्जाम क्यों:
निर्वाचन विभाग में कार्यरत कर्मचारियों से आम लोग भी सवाल पूछते नजर आते हैं. निर्वाचन विभाग या बाहर भी लोग इनसे नाम जुड़वाने, हटवाने या सुधरवाने की प्रक्रिया के बारे में पूछते है. लेकिन विभाग में कार्यरत होने के बावजूद प्रक्रिया की जानकारी नहीं होने से वो जवाब देने की बजाय बचते नजर आते हैं.
कर्मचारी अपने आप को इससे बचाने के लिए कई बार सचिवालय का ही कर्मचारी बताते हैं. ऐसे में बाहरी लोगों को पूरा जवाब नहीं मिल पाता. आम लोगों की जिज्ञासाएं शांत हो और निर्वाचन विभाग का कर्मचारी होने के नाते उनको पूरा जवाब दे सके इसके लिए एग्जाम ली जाएगी.
परीक्षा कब और कैसे:
सभी कर्मचारियों की यह परीक्षा सचिवालय में ही होगी जिसमें कर्मचारियों से सामान्य सवाल पूछे जाएंगे. इसके लिए 50 प्रश्न हो सकते हैं.
- कर्मचारियों से वोटर कार्ड बनवाने, नाम करेक्शन के लिए कौनसा फॉर्म भरना होगा. वृद्ध व्यक्ति क्या घर से वोट डाल सकते हैं.
- ऐसे ही सामान्य से प्रश्न होंगे, जिसके जवाब कर्मचारियों से पूछे जाएंगे. निर्वाचन विभाग का मानना है कि कर्मचारियों को यह सामान्य जानकारी रहनी चाहिए.
बेस्ट वर्क पर होगा सम्मान:
इसके साथ ही अच्छे कामकाज के लिए हर महीने कर्मचारियों को सम्मानित करने की कार्य योजना पर भी काम किया जा रहा है.
एग्जाम पास करने पर कर्मचारियों को अन्य विभागों या अन्य जिलों में ट्रैनिंग देने के लिए भेजा जाएगा. जिससे हर आदमी ऑनलाइन नाम जोड़ने, हटाने की प्रक्रिया को समझ सके.
- वो अब घर बैठे ऑनलाइन भी इस प्रक्रिया को अपना सकता है. इससे समय की भी बचत होगी. हर महीने अच्छे काम के लिए सीईओ की ओर से सम्मान भी मिलेगा. वहीं विभाग में बेस्ट वर्कर के रूप में उनकी फोटो भी लगाई जा सकेगी.
नाम करेक्शन के 80 हजार आवेदन ऑनलाइन:
विधानसभा चुनाव के बाद निर्वाचन विभाग को 1 लाख 20 हजार आवेदन करेक्शन और मतदाता सूची में नाम जोड़ने, हटाने के लिए मिले हैं.
इसमें से 80 हजार आवेदन ऐसे हैं जो आयोग को सीधे ऑनलाइन प्राप्त हुए हैं. निर्वाचन विभाग भी अब लोगों को ऑनलाइन अवेयरनेस के लिए काम कर रहा है. इसके लिए लगातार फेसबुक, ट्वीटर पर पोस्ट डाली जा रही है.
हाल ही में सामान्य जानकारी के लिए कर्मचारियों की एक ट्रेनिंग भी रखी गई थी. जिसमें ऑनलाइन आवेदन करने सहित अन्य जानकारियां दी गई थी. इसके साथ ही विभाग के सभी कर्मचारियों को ब्रांड एंबेसडर बनाया गया है.