नई दिल्ली: विमानन कंपनी इंडिगो के मुख्य कार्यपालक अधिकारी (सीईओ) रनजॉय दत्ता ने बुधवार को कहा कि विमान ईंधन एविएशन टर्बाइन फ्यूल (एटीएफ) की कीमतों में वृद्धि ने कंपनी को बुरी तरह प्रभावित किया है. उन्होंने कहा कि जनवरी से लेकर अबतक एटीएफ की कीमतों में 50 प्रतिशत की वृद्धि हो चुकी है. ऐसे में सरकार को इसे माल एवं सेवा कर (जीएसटी) के दायरे में लाना चाहिए और लोगों के लिए उड़ानों को किफायती बनाना चाहिए.
हम एटीएफ को जीएसटी के तहत लाने के लिए सरकार के साथ बातचीत कर रहे हैं क्योंकि इससे इनपुट कर क्रेडिट का लाभ मिलता है:
दत्ता ने एक बयान में कहा कि यूरोप में चल रहे संघर्ष के कारण पिछले कुछ हफ्तों में कच्चे तेल की कीमतें सात साल के उच्चतम स्तर 140 अमेरिकी डॉलर प्रति बैरल के करीब पहुंच गई हैं. उन्होंने कहा कि इसके कारण एटीएफ की कीमतें भी जनवरी, 2022 से अबतक करीब 50 प्रतिशत बढ़ गई हैं जिसमे से 18 प्रतिशत की वृद्धि आज हुई है.
सीईओ ने कहा कि हम एटीएफ को जीएसटी के तहत लाने के लिए सरकार के साथ बातचीत कर रहे हैं क्योंकि इससे इनपुट कर क्रेडिट का लाभ मिलता है. सोर्स-भाषा