जयपुर: टोंक जिले में एक कांग्रेस नेता के साथ दुर्व्यवहार करने और धक्का देने के आरोप में तीन पुलिस अधिकारियों को निलंबित कर दिया गया है. पूर्व टोंक जिला प्रमुख रामविलास चौधरी स्थानीय लोगों द्वारा राजमार्ग पर किये गये जाम के संबंध में पुलिस अधिकारियों से बात करने गए थे.
प्रदर्शनकारी उन आरोपियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग कर रहे थे जिन्होंने कथित तौर पर कुछ दुकानों पर पथराव किया और एक स्थानीय व्यक्ति को घायल कर दिया. इसके बाद स्थानीय लोगों ने बरोनी पुलिस थाने के तहत एक राजमार्ग को अवरुद्ध कर दिया था.
घटना का वीडियो सामने आने और प्रदेश कांग्रेस कमेटी (पीसीसी) के प्रमुख गोविंद सिंह डोटासरा द्वारा दोषी अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग करने के बाद राज्य सरकार ने दो अधिकारियों को निलंबित कर दिया. पुलिस के प्रवक्ता ने बताया कि टोंक जिले में पूर्व जिला प्रमुख के साथ बदसलूकी के मामले में मुख्यमंत्री कार्यालय के निर्देशानुसार पुलिस मुख्यालय द्वारा क्षेत्राधिकारी और थाना प्रभारी को निलंबित कर दिया गया है.
महानिदेशक पुलिस इंटेलिजेंस उमेश मिश्रा ने बताया कि मामले की अग्रिम जांच अजमेर रेंज महानिरीक्षक रुपिंदर सिंह को सौंपी गई है. उन्होंने बताया कि जनप्रतिनिधि के साथ हुई अभद्रता को लेकर प्रथम दृष्टया दोषी पाए जाने पर क्षेत्राधिकारी निवाई रूद्र प्रकाश शर्मा, थाना प्रभारी सदर निवाई आशु सिंह गुर्जर और थानाधिकारी पीपलू प्रहलाद सहाय को निलंबित कर दिया गया है.
एक रॉयल्टी ठेकेदार के कर्मचारियों पर लोगों को परेशान करने का आरोप:
कुछ स्थानीय लोगों ने एक रॉयल्टी ठेकेदार के कर्मचारियों पर लोगों को परेशान करने का आरोप लगाते हुए एक राज्य राजमार्ग पर जाम लगा दिया. उन्होंने आरोप लगाया कि एक स्थानीय व्यक्ति को पीटा गया और कुछ दुकानों पर पथराव किया गया. पुलिस ने जाम खुलवाने के लिये हल्का बल का प्रयोग किया. इस बीच, रामविलास चौधरी मौके पर पहुंचे और पुलिस उपाधीक्षक रुद्रप्रकाश शर्मा से बात की. दोनों के बीच तीखी नोकझोंक हुई, जिसके बाद शर्मा और अन्य पुलिसकर्मियों ने उन्हें धक्का दिया और जबरदस्ती पुलिस जीप में ले गए. चौधरी को वहां से पुलिस लेकर गई और बाद में उन्हें छोड़ दिया गया.
एक व्यक्ति की पिटाई के बाद कुछ लोगों ने राजमार्ग को जाम कर दिया था:
पुलिस ने बताया कि एक व्यक्ति की पिटाई के बाद कुछ लोगों ने राजमार्ग को जाम कर दिया था. वे आरोपी की गिरफ्तारी की मांग कर रहे थे. डोटासरा ने कहा कि पुलिस अधिकारी का आचरण उनके पद की गरिमा के खिलाफ है. उन्होंने कहा कि राज्य सरकार को आज ही अधिकारी के खिलाफ कार्रवाई करनी चाहिए. डोटासरा के ट्वीट के बाद क्षेत्राधिकारी निवाई रूद्रपकाश शर्मा और थाना प्रभारी सदर निवाई आशुसिंह गुर्जर को निलंबित कर दिया गया.