भाजपा को यह मानना अच्छा लगता है कि सत्ता में हमेशा वही रहेगी- Rahul Gandhi

लंदन: कांग्रेस के वरिष्ठ नेता राहुल गांधी ने सोमवार को कहा कि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) को यह मानना अच्छा लगता है कि भारत में हमेशा वही सत्ता में रहेगी, लेकिन ऐसा है नहीं.

ब्रिटेन यात्रा पर पहुंचे राहुल गांधी ने सोमवार शाम ‘चैथम हाउस’ थिंक टैंक में एक संवाद सत्र के दौरान एक बार फिर दावा किया कि उनके फोन में इज़राइल के सॉफ्टवेयर ‘पेगासस’ को डाला गया था क्योंकि उन्होंने सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) पर भारत में असंतोष की आवाज दबाने की कोशिश करने का आरोप लगाया था.

समझने में देरी की और इसका खामियाजा उन्हें उठाना पड़ा:
केरल के वायनाड से सांसद गांधी ने कहा कि अगर आप आजादी से लेकर आज तक के समय को देखेंगे तो कांग्रेस अधिकतर समय सत्ता में रही.’’ गांधी ने कहा कि भाजपा के 10 साल तक सत्ता में रहने से पहले हम 10 साल तक सत्ता में थे. भाजपा को यह मानना अच्छा लगता है कि वह भारत में सत्ता में आई है और हमेशा वही सत्ता में बनी रहेगी, हालांकि ऐसा नहीं है. भाजपा नीत सरकार 2014 से भारत में सत्ता में है. गांधी ने भारत में होने वाले कई परिवर्तनों की ओर इशारा किया, जिसे कांग्रेस और पिछली संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन (संप्रग) सरकार ने समझने में देरी की और इसका खामियाजा उन्हें उठाना पड़ा.

भारतीय लोकतंत्र के साथ गंभीर समस्या है:
उन्होंने कहा कि हम ग्रामीण क्षेत्र पर काफी ध्यान केंद्रित कर रहे थे और शुरुआत में हम शहरी क्षेत्रों को लेकर चूक गए. यह एक तथ्य है, लेकिन यह कहना वास्तव में हास्यास्पद है कि भाजपा सत्ता में है और कांग्रेस का समय खत्म हो गया है.’ चैथम हाउस संवाद के दौरान गांधी ने कहा कि कांग्रेस के अलावा, विदेशी मीडिया भी इस बात को उजागर कर रहा है कि भारतीय लोकतंत्र के साथ गंभीर समस्या है. उन्होंने कहा कि भाजपा इस तरह जवाब देती है उसे चर्चा में कोई दिलचस्पी नहीं है. उन्होंने फैसला कर लिया है कि केवल वे जानते हैं कि क्या हो रहा है, देश में कोई और यह नहीं जानता. मेरे फोन में ‘पेगासस’ था, जब हम सत्ता में थे तब ऐसा नहीं हो रहा था. इसलिए ऐसी कई चीजें हैं जो बेहद स्पष्ट हैं और सभी को नजर आ रही हैं.

तीन सदस्यीय समिति का गठन किया है: 
पिछले साल के मध्य में एक अंतरराष्ट्रीय मीडिया संगठन ने दावा किया था कि इज़राइल के जासूसी सॉफ्टवेयर ’पेगासस स्पाइवेयर’ का उपयोग कर 300 से अधिक भारतीय मोबाइल फोन नंबरों को निगरानी के लिए संभावित लक्ष्यों की सूची में रखा गया था जिनमें कई नेताओं और पत्रकारों के फोन नंबर भी थे. इसके बाद कांग्रेस और कई अन्य विपक्षी दलों ने संसद और संसद के बाहर इस मुद्दे को लेकर सरकार पर निशाना साधा था और जासूसी करने का आरोप लगाया था. भारत के उच्चतम न्यायालय ने इस मामले की जांच के लिए गत अक्टूबर महीने में विशेषज्ञों की तीन सदस्यीय समिति का गठन किया है.

लोकतांत्रिक चुनाव की प्रकृति को बदल दिया: 
राहुल गांधी ने राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) को एक ‘‘ कट्टरपंथी, फासीवादी संगठन’’ बताते हुए कहा कि उसने देश के संस्थानों पर कब्जा करके भारत में लोकतांत्रिक चुनाव की प्रकृति को बदल दिया है. विदेशी दर्शकों के लिए इसे स्पष्ट रूप से समझाने को कहने पर गांधी ने कहा कि आप इसे एक ‘सीक्रेट सोसाइटी’ कह सकते हैं. यह ‘मुस्लिम ब्रदरहुड’ की तर्ज पर बनाया गया है और इसका मकसद है कि सत्ता में आने के लिए लोकतांत्रिक चुनाव का इस्तेमाल किया जाए और फिर बाद में लोकतांत्रिक चुनाव को खत्म कर दिया जाए. भारत की विदेश नीति पर बात करते हुए गांधी ने रूस-यूक्रेन संघर्ष और भारत-चीन संबंधों के बीच तुलना की.

धरती पर भारत को बदनाम करने का आरोप लगाया:
चीन पर 2,000 वर्ग किलोमीटर भारतीय क्षेत्र पर कब्जा करने का आरोप लगाते हुए उन्होंने कहा कि लेकिन हमारे प्रधानमंत्री कहते हैं कि वह (चीन) वहां नहीं हैं. भारत-पाकिस्तान संबंधों पर उन्होंने कहा कि उनका मानना है कि सभी पड़ोसी देशों के साथ अच्छे संबंध होना महत्वपूर्ण है. हालांकि उन्होंने यह भी कहा कि यह पाकिस्तानियों की कार्रवाई पर निर्भर करता है. उन्होंने कहा कि अगर पाकिस्तान, भारत में आतंकवाद को बढ़ावा देता है, तो काफी मुश्किल हो जाएगी. भाजपा ने राहुल गांधी पर विदेशी धरती पर भारत को बदनाम करने का आरोप लगाया है.

विदेशी धरती पर भारत को बदनाम कर रहे: 
केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने सोमवार को कांग्रेस नेता पर उनके बयानों के लिए निशाना साधा और उनसे देश को धोखा न देने का आग्रह किया. उन्होंने कहा कि राहुल गांधी जी आप भारत के साथ विश्वासघात मत कीजिए. भारत की विदेश नीति पर सवाल उठाना दिखाता है कि आपको मुद्दे की समझ नहीं है. विदेशी जमीन पर जाकर अपने देश को बदनाम करने का आप जो प्रयास करते हैं, झूठ फैलाते हैं. इसे कोई नहीं मानेगा. ठाकुर ने आरोप लगाया कि कि गांधी अपनी नाकामियों को छिपाने के लिए विदेशी धरती पर भारत को बदनाम कर रहे हैं. सोर्स-भाषा