जयपुर: लोकसभा चुनाव में प्रदर्शन से उत्साहित कांग्रेस अब विधानसभा उपचुनाव,पंचायत और निकाय चुनाव की तैयारियों में जुटेगी.विधानसभा सत्र के बाद कांग्रेस अगस्त से विधानसभा वार सम्मेलन शुरु करेगी.वहीं लोकसभा चुनाव परिणामों को लेकर भी जल्द एक समीक्षा बैठक जयपुर में होगी.उन बूथों की मजबूती पर खास फोकस किया जाएगा जाएगा, जिन पर विधानसभा चुनाव की तुलना में लोकसभा चुनाव में पिछड़ गए. लोकसभा चुनाव में गठबंधन के साथ 11 सीटें हासिल करने के बाद कांग्रेस अब एक्टिव मोड़ में नजर आ रही है.कांग्रेस अब आगामी 5 सीटों पर विधानसभा उपचुनाव,निकाय और पंचायत चुनाव पर फोकस करेगी.दरअसल कांग्रेस पार्टी चाहती है कि जो मोमेंटम लोकसभा चुनाव रिजल्ट से बना है, वह आगे भी बरकरार रहे.जिससे संगठन और कार्यकर्ता को भी लगातार चुनावी मोड़ में रखा जा सके. चलिए आपको बताते है कि आगामी चुनावों में कांग्रेस का क्या रोडमैप रहेगा.
लोकसभा चुनाव के परिणामों की समीक्षा:
जल्द ही लोकसभा चुनाव को लेकर जयपुर में एक समीक्षा बैठक होगी.जिसमें खासतौर से 14 हारने वाली सीटों को लेकर फीडबैक जुटाया जाएगा.फिर हार के कारणों के एक डिटले रिपोर्ट तैयार की जाएगी.
विधानसभा वार सम्मेलन:
राजस्थान में अक्टूबर-नवम्बर माह में 5 विधानसभा सीटों पर उपचुनाव होंगे.इसके लिए कांग्रेस ने विधानसभा वार सम्मेलन करने की रणनीति बनाई है.बजट सत्र के बाद अगस्त माह से इन विधानसभाओं में कार्यकर्ता सम्मेलन किए जाएंगे, जिसमें पीसीसी चीफ,प्रभारी और नेता प्रतिपक्ष सहित अन्य वरिष्ठ नेता मौजूद रहेंगे. उपचुनाव के बाद भी अन्य क्षेत्रों में लगातार सम्मेलन जारी रहेंगे.
बूथ मैनेजमेंट पर विशेष फोकस:
कांग्रेस ने विधानसभा फिर लोकसभा चुनाव के बाद अब सबसे ज्यादा फोकस बूथ मजबूती की रणनीति पर किया है.इसके लिए विधानसभा और लोकसभा चुनाव में जिन बूथों पर वोटों में अंतर आय़ा उनके डेटा का विश्लेषण किया जाएगा.फिर जिन बूथों पर पिछड़े या जहां लगातार वोट कम मिल रहे है उनको खास रुप से मजबूत किया जाएगा. इन गतिविधियों के अलावा कांग्रेस पार्टी कईं अन्य फैसलों पर भी विचार कर रही है.बतौर विपक्ष की छाप छोड़ने के लिए कांग्रेस सदन से लेकर सड़क तक जनहित के मुद्दों पर मुखरता से विरोध जताएंगी.दरअसल कांग्रेस पार्टी चाहती है कि हर चुनाव में भाजपा से आगे रहा जाए जिससे कार्यकर्ताओं का मनोबल भी बना रहे औऱ परफोर्मेंस रिपोर्ट भी बरकरार रहे.
...फर्स्ट इंडिया के लिए दिनेश डांगी की रिपोर्ट