जयपुर: जयपुर विकास प्राधिकरण के आला अभियंताओं की उदासीनता और लापरवाही के चलते राइजिंग राजस्थान समिट का मुख्य वैकल्पिक मार्ग भारी उपेक्षा का शिकार है. यही हाल रहे तो इस महा आयोजन में आने वाले देशी-विदेशी मेहमान राजधानी नहीं बल्कि पूरे प्रदेश की नकारात्मक छवि अपने साथ लेकर जाएंगे.
जी हां हम बात कर रहे हैं मालवीय नगर स्थित कैलगिरी रोड की. राइजिंग राजस्थान समिट के आयोजन का मुख्य केन्द्र सीतापुरा इंडस्ट्रीयल एरिया स्थित जयपुर एक्जीबीशन एंड कन्वेंशन सेंटर (जेईसीसी) है. जेईसीसी तक आवागमन के लिए टोंक रोड के बाद मुख्य वैकल्पिक मार्ग जेएलएन मार्ग पर मालवीय नगर ओवरब्रिज से शुरू होकर कैलगिरी रोड होते हुए अपेक्स सर्किल और यहां से महल रोड होते हुए सीतापुरा इंडस्ट्रीयल एरिया तक है. इस वैकल्पिक मार्ग में शामिल महल रोड को तो जेडीए की ओर से जमकर चमकाया जा रहा है. लेकिन इसी मुख्य वैकल्पिक मार्ग में शामिल कैलगिरी रोड जेडीए के आला अभियंताओं की भारी उपेक्षा का शिकार है. आपको बताते हैं कि राइजिंग राजस्थान समिट के महा आयोजन के लिहाज से किस तरह यह मुख्य वैकल्पिक मार्ग महत्वपूर्ण है.
-राइजिंग राजस्थान समिट में आने वाले जो मेहमान एयरपोर्ट के टर्मिनल 1 पर उतरेंगे, वे टोंक रोड होते हुए सीतापुरा पहुंचेंगे
-इसी तरह एयरपोर्ट के टर्मिनल 2 पर उतरने वाले मेहमान जवाहर सर्किल होते हुए रेलवे मुख्यालय वाली सड़क से होते हुए महल रोड से जाएंगे.
-इन दोनों मार्गों पर सामान्य दिनों में ही यातायात का भारी दबाव रहता है.
-राइजिंग राजस्थान समिट के महा आयोजन के दौरान इन मार्गों पर यातायात दबाव और बढ़ने की पूरी आशंका है.
-इसी लिहाज से जेएलएन मार्ग पर मालवीय नगर ओवरब्रिज से शुरू होकर कैलगिरी रोड होते हुए अपेक्स सर्किल.
-और यहां से महल रोड होते हुए सीतापुरा इंडस्ट्रीयल एरिया जाने का यह मुख्य वैकल्पिक मार्ग है.
-इस मुख्य वैकल्पिक मार्ग में शामिल कैलगिरी रोड को देखकर लगता है कि यह सड़क राइजिंग राजस्थान का आयोजन करने वाले शहर की नहीं हैं.
-बल्कि प्रदेश के किसी पिछड़े हुए छोटे कस्बे या शहर की सड़क है.
राइजिंग राजस्थान के महा आयोजन के लिए मुख्य वैकल्पिक मार्ग में शामिल होने के बावजूद कैलगिरी रोड जेडीए के आला अभियंताओं की नजर से दूर है. अब जबकि इस महा आयोजन के कुछ ही दिन बचे हैं, बावजूद इसके जेडीए के जिम्मेदार अभियंताओं ने इस महत्वपूर्ण मार्ग की सुध तक नहीं ली है. फर्स्ट इंडिया न्यूज की टीम ने इस मालवीय नगर ओवरब्रिज से लेकर अपेक्स सर्किल तक के इस कैलगिरी रोड के मौके के हालातों का जायजा लिया. इस दौरान ऐसा कही नहीं लगा कि हम एक ऐसे महत्वपूर्ण मार्ग से गुजर रहे हैं जो कि राइजिंग राजस्थान जैसे कई लाख करोड़ रुपए के प्रदेश में निवेश वाले महा आयोजन का मुख्य वैकल्पिक मार्ग है. आपको बताते हैं कि मौके पर किस तरह बदतर हालात हैं.
-कैलगिरी रोड पर राजपूत कॉलोनी के मोड़ से लेकर अपेक्स सर्किल तक पूरी सड़क पर बड़े हिस्से में डामर ही नहीं हैं.
-स्थानीय लोगों के मुताबिक दीवाली से पहले से ही यहां ऐसे हालात है.
-इस हिस्से में सीवरेज लाइन डाली गई थी, लाइन तो डाल दी लेकिन सड़क को ऐसे ही छोड़ दिया गया.
-इस हिस्से में कुछेक भाग को छोड़कर अधिकतर भाग में सड़क उधड़ी पड़ी है, जगह-जगह गड्ढे हैं.
-यहां हिचकाले खाते वाहनों के गुजरने के चलते अक्सर धूल का गुबार उड़ता रहता है.
-इस हिस्से में डिवाइडर के दूसरी तरफ सीवरेज लाइन ओवर फ्लो हो गई है.
-जिसके चलते गंदा पानी पूरी सड़क पर फैला हुआ है.
-पूरी सड़क पर डिवाइडर पूरी तरह से बदरंग हो चुका है.
-रोडलाइटों के खंभों को देखकर लगता है कि लंबे समय से इन पर पेंट हीं नहीं किया गया है.
-दोनों तरफ फुटपाथ कई स्थानों से बीच-बीच में टूटा हुआ है.
-यहां प्रधान मार्ग के सामने कैलगिरी रोड पर बेतरतीब थड़ियां लगी हुई है.
-मालवीय नगर ओवरब्रिज से इस कैलगिरी रोड पर प्रवेश करते ही एक तरफ पार्क है उसकी रैलिंग भी बदरंग हो गई है.
-कैलगिरी रोड से निकलकर ओवरब्रिज के नीचे से जेएलएन मार्ग के लिए जहां से घूमते हैं.
-वह पूरा हिस्सा बदतर हालत में हैं. कंटीली झाड़ियां और जंगली पौधे उगे हुए हैं.
-इसी हिस्से में इन बेतरतीब स्थिति को छिपाने के लिए जेडीए ने हरा पर्दा लगा रखा है.
-लेकिन यह पर्दा बेतरतीब हालातों को छिपाने के बजाए जेएलएन मार्ग पर टाट में पैबंद जैसा साबित हो रहा है.
-जेडीए की ही ओर यहां दस साल पहले विकसित किए गए पिकॉक गार्डन के हालात भी विकट हैं.
-यहां गार्डन में निर्मित की गई छतरियों का रंग पूरी तरह से उड़ चुका है.
-बदरंग होती इन छतरियों पर बनाए मोर भी दूर से दिखाई नहीं देते.