बौंली(सवाईमाधोपुर): क्षेत्र थाना अंतर्गत निर्माणाधीन एक्सप्रेस वे पर एक दर्दनाक हादसा (Accident) सामने आया है. दरअसल, शुक्रवार को तकरीबन 11:00 बजे एक अधेड़ अपनी पुत्री, पौत्री और दोहिते के साथ एक देवस्थान के दर्शन कर पैदल लौट रहा था. इसी दरमियान अनियंत्रित डंपर की टक्कर से उसकी पुत्री, दोहिते और पौत्री की मौत हो गई.
प्राप्त जानकारी के अनुसार झुंझुनू निवासी 60 वर्षीय अधेड़ रामनिवास रेगर अपनी पुत्री अनीता पत्नी तीर्थराज रेगर सवाई माधोपुर और अपनी पौत्री 14 वर्षीय प्रिया और नवासे 8 वर्षीय शुभम के साथ राजपुरिया स्थित देवता के दर्शन कर लौट रहा था. इसी दरमियान निर्माणाधीन एक्सप्रेस वे पर कार्यरत एक डंपर उनके लिए काल बन कर आया. अधेड़ रामनिवास डिवाइडर से कूदने के चलते बच गया लेकिन उसकी पुत्री, दोहिता और पौत्री डंपर द्वारा बेरहमी से कुचल दिए गए.
घटना के बाद डंपर चालक मौके से फरार हो गया. लेकिन पुलिस और ग्रामीणों के सहयोग से डंपर को तो कुछ दूरी पर ही जब्त कर लिया और डंपर चालक की तलाश शुरू कर दी. घटना को लेकर सैकड़ों की तादाद में ग्रामीण मौके पर जमा हो गए और एक्सप्रेस वे जाम कर 5 सूत्री मांगों को लेकर प्रदर्शन करने लगे. सरपंच सीमा देवी और सरपंच प्रतिनिधि हनुमान मीणा के नेतृत्व में सैकड़ों ग्रामीणों ने निर्माणाधीन एक्सप्रेस वे पर ही धरना दे दिया. जिसके बाद बौंली (Bonli) प्रधान कृष्ण पोसवाल, मंडल अध्यक्ष रामअवतार मीणा भी मौके पर पहुंचे और ग्रामीणों के साथ धरने पर बैठ गए.
ग्रामीणों ने तीनों मृतकों के लिए एक-एक करोड़ रुपए मुआवजा देने, डंपर चालक को गिरफ्तार करने, डंपर चालक के विरुद्ध हत्या का मुकदमा दर्ज करने, चिरंजीवी योजना का लाभ देने आदि मांगों को लेकर प्रदर्शन शुरू कर दिया. मामले की नजाकत को देखते हुए एसडीएम बद्रीनारायण मीणा, तहसीलदार राजेश मीणा, सीओ तेज कुमार पाठक और एसएचओ कुसुम लता मीणा भी मौके पर पहुंचे और ग्रामीणों से समझाइश के प्रयास शुरू किए. संवेदनशीलता के चलते मौके पर जिला मुख्यालय से अतिरिक्त पुलिस बल बुलाया गया. वहीं दोपहर 3:00 बजे आरएसी का जाब्ता भी बुलाया गया.
ग्रामीणों की मांग पर निर्माणाधीन एक्सप्रेस वे पर कार्यरत एचजी इंफ्रा इंजीनियरिंग लिमिटेड कंपनी के प्रबंधक तारकेश्वर अपनी टीम के साथ मौके पर पहुंचे और ग्रामीणों को सांत्वना देते हुए समझाइश का प्रयास किया. बामनवास विधायक इंदिरा मीणा भी सूचना के बाद मौके पर पहुंची और कंपनी के अधिकारियों से पीड़ित परिवार को मुआवजा देने की मांग की. देर शाम तक आरोपी चालक को गिरफ्तार करने, सरकारी योजनाओं का लाभ देने सहित अन्य मांगों पर सहमति बन चुकी थी. लेकिन कंपनी द्वारा दिए जाने वाले मुआवजे को लेकर समझाइश का दौर जारी था. हाईवे पर 6-7 घंटे से पड़े हुए तीनों शवों को देखकर अधेड़ रामनिवास का रो-रो कर बुरा हाल था.
मृतक शुभम तीन बहनों का इकलौता भाई:
जानकारी के अनुसार राम निवास की पुत्री प्रिया के जन्म के दिन ही उसके पिता मेघराज का एक सड़क दुर्घटना में निधन हो गया था. वहीं रामनिवास की पुत्री मृतका अनिता का पति तीर्थराज रेगर जयपुर की एक निजी कंपनी में कार्यरत है. अपनी पत्नी और इकलौते पुत्र को खो देने के बाद तीर्थराज का रुदन रुकने का नाम नहीं ले रहा था. तीर्थराज ने कुछ दिनों पूर्व ही धूमधाम से अपने पुत्र शुभम का जन्मदिन सेलिब्रेट किया था. मृतक 8 वर्षीय शुभम की तीनों बहनें भी अपने इकलौते भाई को खोने के बाद बेसुध थी.