जयपुर: SDM अमित चौधरी ने मारपीट प्रकरण पर कहा कि मेरा कोई निजी पक्ष नहीं है. मतदान का बहिष्कार चल रहा था. ECI के सीनियर अधिकारी वहां पर थे. हमने कर्तव्यों की पूर्ति की. तुरंत अरेस्ट की प्रक्रिया रहती है. प्रशासनिक व्यवस्था है कि प्रत्याशी को पोल का फेयर चांस मिले. चुनाव को शांतिपूर्ण ढंग से संपन्न कराना प्राथमिकता थी. मजिस्ट्रेट ने भी बात को रखा है. संभव नहीं हो पाता कि एरिया मजस्ट्रेट विधानसभा के हर क्षेत्र में पहुंचे.
कलेक्टर के निर्देश अनुसार काम होता है. प्राथमिकी मैंने दर्ज कराई है. थप्पड़ मारना क्रिमिनल एक्टिविटी थी. सभी ने अपने वोट के अधिकार का इस्तेमाल किया. यह संभव नहीं कि जबरदस्ती वोट डलवाया जाए. मेरी जगह कोई और होता तो उसके साथ ऐसा हो सकता था. कार्रवाई सही ढंग से होगी ऐसी आशा जताई. टोंक शांतिपूर्ण, बाहरी लोगों को गिरफ्तार किया है. उन्होंने ही उपद्रव किया था.
गौरतलब है कि गुरुवार को देवली-उनियारा के समरावता गांव से नरेश मीणा की गिरफ्तारी की गई. टोंक पुलिस ने बड़ा एक्शन लिया. पुलिस की 28 अलग-अलग टीमों ने कार्रवाई की. समरावता मतदान केंद्र में थप्पड़ कांड, आगजनी, उपद्रव मामले में अब तक 60 आरोपियों को गिरफ्तार किया गया. आगजनी कांड में उपद्रवियों ने 2 सरकारी वाहनों, 7 निजी वाहनों और 25 मोटर साइकिलो सहित कई वाहनों में आग लगाई थी.
मामले में नगर फोर्ट थाने में कुल 4 अलग-अलग FIR भी दर्ज की गई. अन्य नामजद आरोपियों की तलाश में टोंक पुलिस की कई टीमें जुटी हुई. टोंक SP विकास सांगवान खुद सभी मामलों की मॉनिटरिंग कर रहे है. बुधवार को देवली-उनियारा में उपचुनाव के दौरान नरेश मीणा ने SDM अमित चौधरी को थप्पड़ जड़ दिया था. जिसके बाद मामला काफी ज्यादा भड़क गया. वहीं बुधवार देर रात नरेश मीणा के समर्थक और प्रदर्शनकारियों ने हंगामा कर दिया. और उसके बाद पुलिस पर पथराव किया गया. जिसके बाद पुलिस की ओर से जवाबी कार्रवाई करते हुए लाठीचार्ज और आंसू गैस के गोले छोड़े गए.