जयपुर: SMS अस्पताल की लाइफ लाइन में दवा आपूर्ति फर्मों से जुड़े मामले में जिम्मेदार "LD" वसूलकर सो गए, जिससे दो करोड़ का फटका लग गया! दरअसल, लाइफ लाइन में भ्रष्टाचार के खुलासे के बाद LD वसूली शुरू हुई थी. वर्ष 2018 में विभिन्न फर्मों पर करीब 6 करोड़ रुपए की LD एक साथ लगाई गई थी. तय समय पर सप्लाई नहीं होने पर लेट डिलीवरी (LD) की पैनल्टी लगती है.
इस वसूली के खिलाफ कुछ फर्मों की अपील पर आर्बिट्रेशन नियुक्त किया गया है. इसमें से एक प्रकरण की सुनवाई में बड़ी प्रशासनिक लापरवाही देखने को मिली. नोटिस के बावजूद अस्पताल प्रशासन की तरफ से कोई पक्ष नहीं रखा गया. ऐसे में एक फर्म को मय ब्जाय और पैनल्टी के राशि लौटाने का आदेश आया है.
77 करोड़ की वसूली की एवज में करीब दो करोड़ रुपए लौटाने का आदेश आया. आदेश के बाद प्रशासन की नींद उड़ी हुई है. अब फिर से प्रकरण में अपील की तैयारी है. लेकिन सवाल ये कि क्या किसी ने जानबूझकर नहीं रखने दिया अस्पताल को अपना पक्ष ?