VIDEO: आईटी के नित नए नवाचार में जेडीए का एक और नवाचार, विभिन्न प्रकरणों में प्राप्त आपत्ति सुझाव रहेंगे रिकॉर्ड पर, देखिए ये खास रिपोर्ट

जयपुर: जेडीए में आईटी को लेकर नित नए नवाचार लागू किए जा रहे हैं,इसी कड़ी में एक और नवाचार लागू किया गया है. इस नवाचार से जेडीए से संबंधित किसी भी कार्यवाही के लिए मांगे गए सभी आपत्ति व सुझावों का नियमानुसार निस्तारण हो सकेगा. आखिर क्या है यह नवाचार ? 

जयपुर विकास प्राधिकरण की ओर से कृषि भूमि रूपांतरण,भू उपयोग परितर्वन, भूमि आवंटन,पट्टा जारी करने,नाम हस्तांतरण और उप विभाजन व पुनर्गठन के  मामलों में आपत्ति व सुझाव मांगे जाते हैं. इसके बाद ही इन मामलों का निस्तारण किया जाता है. इसी मामले में प्रभावी कार्यवाही के लिए आईटी के लिहाज से नवाचार लागू किया गया है. आपको सबसे पहले बताते हैं कि आपत्ति व सुझाव मांगने को लेकर पहले क्या व्यवस्था थी और यह नवाचार लागू करने की क्यों जरूरत पड़ी.

-जेडीए में विभिन्न प्रकरणों में आपत्ति व सुझाव मांगने के लिए संबंधित जोन उपायुक्त सार्वजनिक विज्ञप्ति जारी करते थे
-यह विज्ञप्ति प्रकाशन के लिए आवेदक को ही दी जाती थी
-सार्वजनिक सूचना जारी कर निर्धारित अवधि के लिए आमजन से आपत्ति व सुझाव मांगे जाते थे
-आपत्ति व सुझाव ऑफलाइन जेडीए के संबंधित कार्यालय में प्राप्त किए जाते थे
-आपत्ति व सुझाव देने के लिए संबंधित व्यक्ति को जेडीए कार्यालय आना पड़ता था
-इन आपत्ति व सुझावों के निस्तारण के बाद ही मामले में अग्रिम कार्यवाही करने की व्यवस्था थी
-आपत्ति व सुझाव प्राप्त करने के ऑफलाइन सिस्टम को लेकर अक्सर शिकायतें सामने आती थी
-मसलन आपत्ति व सुझाव देने के बाद यह पता चलना कि संबंधित कार्यालय को वह मिला ही नहीं
-अगर आपत्ति व सुझाव कार्यालय को प्राप्त हो गए तो उनका निस्तारण सही तरीके से नहीं किया गया

आपत्ति व सुझाव प्राप्त करने के इस ऑफलाइन सिस्टम पर सवाल उठने के बाद जेडीए आयुक्त आनंदी के निर्देश पर मामले में नई व्यवस्था लागू कर दी गई है. इस नई व्यवस्था में पूरी प्रक्रिया को एंड टू एंड ऑनलाइन कर दिया गया है. आपको बताते हैं क्या है नई व्यवस्था और किस तरह इसका मिलेगा फायदा.

-जोन उपायुक्त या संबंधित अधिकारी आपत्ति व सुझाव मांगाने के लिए डिजिटली हस्ताक्षरित विज्ञप्ति ऑनलाइन जारी करेंगे
-ऑनलाइन जारी की गई है यह विज्ञप्ति जेडीए की वेबसाइट jda.rajasthan.gov.in पर उपलब्ध होगी
-जेडीए की वेबसाइट के प्रथम पेज पर दाहिनी तरफ objection module पर क्लिक करने से यह विज्ञप्ति दिखाई देगी
-इसी मॉड्यूल में ही कोई भी व्यक्ति जारी विज्ञप्ति पर आपत्ति व सुझाव ऑनलाइन दर्ज करा सकेगा
-इसके लिए उस व्यक्ति को जेडीए के संबंधित कार्यालय में आने की आवश्यकता नहीं होगी
-पुरानी व्यवस्था के तहत आवेदक के स्तर पर विज्ञप्ति का सार्वजनिक प्रकाशन भी कराना होगा
-जारी विज्ञप्ति में भी स्पष्ट रूप से अंकित होगा कि मामले में आपत्ति व सुझाव जेडीए की वेबसाइट पर दर्ज कराई जाए
-इस नई व्यवस्था का सबसे बड़ा फायदा यह होगा कि
-किसी मामले में प्राप्त सभी आपत्ति व सुझाव पूरी तरह रिकॉर्ड पर रहेंगे
-यह शिकायत नहीं आएगी कि आपत्ति दी तो थी लेकिन कार्यालय में प्राप्त नहीं हुई
-किस मामले में कितने आपति या सुझाव प्राप्त हुए और किस आपत्ति या सुझाव पर क्या कार्यवाही की गई
-क्या आपत्ति या सुझाव का निस्तारण नियमानुसार किया गया या नहीं
-इन सबकी अब जेडीए आयुक्त और जेडीए सचिव के स्तर पर ऑनलाइन मॉनिटरिंग की जा सकेगी
-प्राप्त आपत्ति व सुझावों की ऑनलाइन मॉनिटरिंग होने से मामले में अधिकारियों की मनमर्जी पर अंकुश लग सकेगा