जयपुर: राज्य सरकार ने कृषि एवं उससे जुडे हुए क्षेत्रों में उत्पादन तथा किसानों की आय बढ़ाने के उद्देश्य से दीर्घकालीन सहकारी कृषि एवं अकृषि ऋणों पर ब्याज अनुदान योजना, 2024-25 लागू करने के लिये आदेश जारी कर दिये हैं. प्रदेश में पहली बार दीर्घकालीन कृषि ऋणों का समय पर चुकारा करने पर 7 प्रतिशत ब्याज अनुदान दिया जायेगा. यह अनुदान वर्ष 2024-25 के दौरान वितरित ऋणों का समय पर चुकारा करने पर दिया जाएगा. सहकारिता मंत्री गौतम कुमार दक ने बताया कि राज्य सरकार द्वारा वर्ष 2024-25 के बजट में 2 प्रतिशत अतिरिक्त ब्याज अनुदान की घोषणा की गई थी, जिसे किसान हित में प्राथमिकता से लागू कर दिया गया है.
उन्होंने बताया कि जिन किसानों द्वारा पूर्व में कृषि ऋण प्राप्त किया है और वे अपने ऋण का समय पर चुकारा कर रहे हैं, ऐसे किसानों को 5 प्रतिशत ब्याज अनुदान का लाभ मिलेगा. सहकारिता राज्य मंत्री ने बताया कि पहली बार इस योजना के तहत उत्पादक अकृषि ऋणी किसानों को भी सम्मिलित कर लाभान्वित किया गया है. अब उत्पादक अकृषि ऋणों का समय पर चुकारा करने वाले किसानों को भी 5 प्रतिशत ब्याज अनुदान का लाभ मिलेगा. उन्होंने बताया कि इस योजना के माध्यम से समय पर अपने ऋण की किश्तों का भुगतान करने वाले किसानों को प्रोत्साहित करते हुये किसानों को उनकी आवश्यकता के अनुसार अधिकाधिक ऋण की सुविधा उपलब्ध कराना है. दक ने बताया कि यह योजना प्रदेश के प्राथमिक सहकारी भूमि विकास बैंक एवं केन्द्रीय सहकारी बैंकों के माध्यम से वितरित कृषि एवं अकृषि ऋणों के समय पर चुकारा करने पर लागू होगी.
उन्होंने बताया कि यदि कोई किसान केन्द्रीय सहकारी बैंक के माध्यम से सहकार किसान कल्याण योजना के तहत इस वर्ष कृषि ऋण लेता है और वह उसका नियमित चुकारा करता है तो उसे 7 प्रतिशत ब्याज का अनुदान मिलेगा. इस प्रकार उसे मात्र 4 प्रतिशत की दर से ब्याज का भुगतान करना होगा.उन्होंने बताया कि इस बार ब्याज अनुदान के लिए कुल 39.75 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है. योजना के लागू होने से किसान आधुनिक खेती के लिये प्रोत्साहित होंगे तथा भूमि सुधार करते हुए उत्पादकता को बढा पायेंगे. उन्होंने बताया कि इससे किसानों की आय में बढोतरी होगी तथा सहकारी बैंक अधिक किसानों को कृषि एवं अकृषि ऋण मुहैया करा पायेंगे.
इतना होगा फायदा:
यदि किसान इस वर्ष सहकार किसान कल्याण योजना (कृषि ऋण) के अन्तर्गत 10 लाख रुपये का ऋण लेता है और वह अपनी किश्ते नियमित चुकाता है तो उसे इस वर्ष 7 प्रतिशत की दर से राशि 68231 रुपये का ब्याज अनुदान मिलेगा. इस प्रकार उसे 107220 रुपये के बजाय 4 प्रतिशत की दर से मात्र 38989 रुपये ही ब्याज देना होगा. इसी प्रकार यदि किसान खेत पर आवास योजना (अकृषि ऋण) के अन्तर्गत 50 लाख रुपये का ऋण लेता है और वह अपनी सभी किश्ते समय पर चुकाता है तो उसे इस वर्ष 5 प्रतिशत की दर से राशि 246108 रुपये का ब्याज अनुदान मिलेगा. इस प्रकार उसे 418385 रुपये के बजाय 3.50 प्रतिशत की दर से मात्र 172277 रुपये का ब्याज देना होगा.
इन उद्देश्यों के लिये ले सकते हैं कृषि ऋण:
नवकूप/नलकूप, कूप गहरा करना, पम्पसैट, फव्वारा/ड्रिप सिंचाई, विद्युतीकरण, नाली निर्माण, डिग्गी/हौज का निर्माण, ट्रेक्टर, कृषि यंत्र, थ्रेशर, कम्बाइन हार्वेस्टर, पावर टिलर, भूमि सुधार, भूमि समतलीकरण, तारबंदी, बाउण्ड्रीवाल, डेयरी, कृषि भूमि क्रय, अनाज/प्याज गोदाम निर्माण, ग्रीन हाउस, कृषि कार्य हेतु सोलर प्लाण्ट, पशुपालन, वर्मी कम्पोस्ट, भेड/बकरी/सुअर/मुर्गी पालन, उद्यानीकरण, ऊंट/बैलगाडी क्रय, मत्स्य पालन, रेशम कीट पालन, जेट्रोफा प्लाण्टेशन, मधुमक्खी पालन तथा सहकार किसान कल्याण योजना अन्तर्गत अन्य सभी उद्देश्य.
इन उद्देश्यों के लिये ले सकते हैं अकृषि ऋण:
अकृषि सूक्ष्म एवं लघु उद्योग, सेवा इकाइयां, लघु पथ परिवहन, उच्च शिक्षा ऋण, स्वरोजगार क्रेडिट कार्ड, शैक्षणिक संस्थान ऋण, स्वास्थ्य सेवा, पर्यटन सेवा, सूचना प्रौद्योगिकी ऋण एवं खेत पर आवास निर्माण.