प्रतापगढ़: जिले में 8 साल पहले नाबालिग को पत्नी बनाने के लिए अपहरण कर ले जाने के मामले में सेशन कोर्ट में सुनवाई पूरी होने के बाद आज दो अपहरणकर्ता को सेशन जज महेंद्र सिंह सिसोदिया ने 7-7 साल की सजा और 5-5 हज़ार रुपए का जुर्माना लगाते हुए जेल भेजने के आदेश दिए.
विशिष्ट लोक अभियोजक ललित भावसार ने बताया कि 15 मार्च 2015 को देवगढ़ थाने में इस्तगासा के जरिए प्रकरण दर्ज हुआ कि अंबापाल निवासी धना मीना और हवजी मीणा ने एक नाबालिग को पत्नी बनाने की नीयत से अपहरण किया और उसे उदयपुर ले जा रहे थे. प्रकरण के अनुसार नाबालिग अपने घर में अकेली थी, मां जंगल में बकरियां चराने गई थी तभी दोनों आरोपी बाइक लेकर आए और उसे जबरन अपने साथ बिठाकर ले गए.
जैसे तैसे उसके भाई के पास पहुंचकर प्रतापगढ़ आ गई थी:
उदयपुर ले जाते समय रास्ते में उसका भाई मिला तो उससे कहा कि हम इसे औरत बनाने के लिए ले जा रहे हैं. इस पर नाबालिग जैसे तैसे उसके भाई के पास पहुंचकर प्रतापगढ़ आ गई. पुलिस ने इस मामले में जांच के बाद अदालत में चालान पेश किया था. तभी से मामला अदालत में विचाराधीन था. आज सुनवाई पूरी होने पर अदालत ने दोनों अपहरण कर्ताओं को 7-7 साल कारावास और पांच-पांच हज़ार रुपये जुर्माना की सजा सुनाते हुए जेल भेजने के आदेश दिए. लोक अभियोजन की ओर से अदालत के समक्ष 10 गवाह और 14 दस्तावेज प्रस्तुत किए गए.