जयपुर: राजस्थान उपचुनाव समाप्त होने के बाद अब कांग्रेस का पूरा फोकस अपने संगठन की मजबूती पर होगा.लिहाजा जल्द संगठन में नियुक्तियां और फेरबदल जैसे पेंडिंग कामों को अब अंजाम दिया जाएगा.पीसीसी के कईं निष्क्रिय पदाधिकारियों की छंटनी होगी.साथ ही महिला कांग्रेस और एनएसयूआई की प्रदेश औऱ जिला कार्यकारिणी का भी गठन होगा.
राजस्थान में सात विधानसभा सीटों के उपचुनाव की जंग में करारी हार झेलने के बाद कांग्रेस अब अपने संगठन पर फोकस करेगी.इसके लिए संगठन में नियुक्तियों और फेरबदल का दौर शुरु होगा.हालांकि यह कवायद पहले भी प्रदेश नेतृत्व की तरफ से शुरु की गई थी, लेकिन पहले जम्मू कश्मीर औऱ हरियाणा के चुनाव आ गए.फिर कांग्रेस हाईकमान झारखंड औऱ महाराष्ट्र के चुनाव में बिजी हो गया.लिहाजा राजस्थान कांग्रेस ने एक बार फिर से यह कवायद शुरु कर दी है.संगठन को चुस्त दुरुस्त बनाने के लिए पार्टी निष्क्रिय पदाधिकारियों को बाहर का रास्ता दिखाने जैसा बड़ा कदम उठा सकती है.
पीसीसी के निष्क्रिय पदाधिकारियों की हो सकती है छुट्टी:
-करीब 40 पीसीसी सचिवों को हटाने की तैयारी
-प्रदेश महिला कांग्रेस को मिल सकती है नई मुखिया
-महिला कांग्रेस की प्रदेश कार्यकारिणी का होगा गठन
-महिला कांग्रेस जिलाध्यक्षों की भी होगी नियुक्तियां
-एनएसयूआई की प्रदेश कार्यकारिणी का होगा गठन
-विभिन्न प्रकोष्ठों और विभागों का भी होगा गठन
-शेष ब्लॉक,मंडल और बूथ स्तर की कार्यकारिणी भी होगी गठित
निष्क्रिय पीसीसी पदाधिकारियों की छंटनी की सारी एक्सरसाइज प्रदेश नेतृत्व ने परफॉर्मेंस रिपोर्ट के आधार पर ऑलरेडी कर रखी है,लेकिन हाईकमान से हरी झंडी नहीं मिल पाई थी.वहीं महिला कांग्रेस की नई मुखिया और प्रदेश कार्यकारिणी का मसला पर आलाकमान स्तर पर पेंडिंग पड़ा है,लेकिन अब हाईकमान और प्रदेश नेतृत्व अब दोनों चुनावी प्रक्रिया से फ्री हो चुके हैं.लिहाजा अब नियुक्तियों और फेरबदल की कवायद को अंतिम रुप दिया जाना तय है. जल्द ही प्रदेश नेतृत्व प्रभारी के जरिए नियुक्तियों औऱ फेरबदल की सूची हाईकमान को भेजेगा.उसके बाद संभवत अगले माह नियुक्तियों और फेरबदल की सूचियां सामने आ सकती है.नियुक्तियों में नेतृत्व मेहनती,युवा और महिला नेताओं को ज्यादा तवज्जो दे सकता है.