सुख और वैभव देने वाले शुक्र 7 मार्च को करेंगे कुंभ राशि में प्रवेश, इस गोचर से किसी को लाभ, तो किसी को नुकसान

सुख और वैभव देने वाले शुक्र 7 मार्च को करेंगे कुंभ राशि में प्रवेश, इस गोचर से किसी को लाभ, तो किसी को नुकसान

जयपुर: शुक्र ग्रह का  07 मार्च को कुंभ राशि में गोचर होने वाला है. जो  31 मार्च तक कुंभ राशि में ही बने रहेंगे. शुक्र का राशि परिवर्त्तन का समय 10:45 मिनट पर है.ज्योतिष गणना के अनुसार कन्या में शुक्र नीच के माने जाते हैं तो वहीं, तुला और वृष राशि में इन्हें स्वामित्व प्राप्त है जबकि, मीन राशि में उच्च के होंगे और कुंभ राशि के लिए शुक्र ग्रह को बेहद लाभकारी माना गया है. इस राशि में पहले से ही  शनि की मौजूदगी है. पाल बालाजी ज्योतिष संस्थान जयपुर के निदेशक ज्योतिषाचार्य डा. अनीष व्यास ने बताया कि शुक्र ग्रह का  07 मार्च को कुंभ राशि में गोचर होने वाला है. जीवन में सुख-समृद्धि और कला के प्रति आकर्षण भी भी शुक्र के प्रभाव से आता है. बुध और केतु के साथ शुक्र मित्रवत संबंध हैं लेकिन सूर्य चंद्रमा और राहु के साथ शत्रुवत संबंध हैं. शुक्र का राशि परिवर्तन ज्योतिषशास्त्र में बहुत महत्वपूर्ण गतिविधि है क्योंकि इस परिवर्तन से सभी राशियों पर गहरा प्रभाव पड़ता है. कुछ राशियों के जीवन में खुशी का आगमन होता है तो कुछ राशियों को उतार-चढ़ाव का सामना करना पड़ता है. इस गोचर से किसी को लाभ ही लाभ होता है तो कुछ को नुकसान उठाना पड़ता है.

ज्योतिषाचार्य डा. अनीष व्यास ने बताया कि शुक्र को सभी ग्रहों में सबसे चमकदार ग्रह माना जाता है. चूंकि शुक्र एक शुभ ग्रह है इसलिए कुंडली में इसकी अच्छी स्थिति से जातकों को जीवन में कई सुख सुविधाएँ मिलती हैं लेकिन मुख्य रुप से प्रेम, भौतिक सुखों में इसकी मजबूती से वृद्धि होती है. इसके साथ ही वैवाहिक जीवन में भी शुक्र की स्थिति का असर पड़ता है, यदि कुंडली में शुक्र अच्छी स्थिति में है तो दांपत्य जीवन सुखद रहता है. वहीं शुक्र की दुर्बल स्थिति व्यक्ति के वैवाहिक जीवन को खराब कर सकती है. 

शुक्र का स्वभाव
भविष्यवक्ता और कुण्डली विश्ल़ेषक डा. अनीष व्यास ने बताया कि ज्योतिष शास्त्र में शुक्र ग्रह को एक महत्वपूर्ण ग्रह माना गया है. कलयुग में शुक्र को सबसे प्रभावशाली ग्रहों में रखा गया है. जन्म कुंडली में शुक्र यदि शुभ हो तो व्यक्ति को वैभव प्रदान करता है. शुभ शुक्र जीवन में सुख समृद्धि और विलासता का कारक बना जाता है. वहीं जब शुक्र अशुभ होता है तो व्यक्ति को बीमार, अपयश, और सुखों में लाता है.

शुक्र व्यक्ति को कलात्मक बनाता
शुभ शुक्र व्यक्ति को कला के क्षेत्र में निपुण बनाता है. शुक्र प्रधान व्यक्ति इंटरटेनमेंट के क्षेत्र में नाम कमाता है. शुक्र व्यक्ति को मीडिया, फिल्म, संगीत, फैशन आदि में रूचि पैदा करता है.

शुक्र के पास अमृत संजीवनी
भविष्यवक्ता और कुण्डली विश्ल़ेषक डॉ. अनीष व्यास ने बताया कि अमृत संजीवनी के मालिक शुक्र पृथ्वी के साथ हैं और शुक्र के पास अमृत संजीवनी है. प्राकृतिक आपदा और अप्रिय घटनाएं जन शून्य स्थानों पर होने की संभावना अधिक है. शुक्र अमृत संजीवनी के कारण संक्रमण और दुर्घटना के शिकार लोगों को बचाने में सफल रहेंगे.

प्रभाव
भविष्यवक्ता डा. अनीष व्यास ने बताया कि वस्तुओं की लागत बढ़ सकती है. कई लोगों के लिए कष्टपूर्ण समय हो सकता है. कई लोग खांसी से पीड़ित हो सकते हैं. अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर भी शुभ असर देखने को मिलेगा. आसपास के देशों से भारत के संबंध तनावपूर्ण हो सकते हैं. अकारण चिंता, भय और तनाव भी होगा. भूकंप बरसात दुर्घटना और प्राकृतिक आपदा होगी. लेकिन जन शून्य स्थानों पर होगी. पाकिस्तान नेपाल चीन अरब और अफ्रीकी देशों में हिंसा, अराजकता, आतंकवाद बढ़ेगा. शुक्र के पास अमृत संजीवनी है और शुक्र पृथ्वी के साथ है. 

शुक्र का गोचर शुभ 
मिथुन, कर्क,  सिंह, तुला, वृश्चिक धनु, कुंभ, 
शुक्र का गोचर अशुभ
कन्या, मीन  
शुक्र का गोचर सामान्य
मेष, वृष, मकर 

शुक्र के उपाय 
कुण्डली विश्ल़ेषक डा. अनीष व्यास ने बताया कि मां लक्ष्मी अथवा मां जगदम्बा की पूजा करें. भोजन का कुछ हिस्सा गाय, कौवे और कुत्ते को दें. शुक्रवार का व्रत रखें और उस दिन खटाई न खाएं. चमकदार सफेद एवं गुलाबी रंग का प्रयोग करें. श्री सूक्त का पाठ करें. शुक्रवार के दिन सफेद वस्त्र, दही, खीर, ज्वार, इत्र, रंग-बिरंगे कपड़े, चांदी, चावल इत्यादि वस्तुएं दान करें.