22 अक्टूबर 2022: आज धनतेरस पर जानें पूजा का शुभ मुहूर्त, पूजन विधि और महत्व

जयपुर: पंचांग का हिंदू धर्म में शुभ व अशुभ देखने के लिए विशेष महत्व होता है. पंचाग के माध्यम से समय एवं काल की सटीक गणना की जाती है. यहां हम दैनिक पंचांग में आपको शुभ मुहूर्त, शुभ तिथि, नक्षत्र, व्रतोत्सव, राहुकाल, दिशाशूल और आज शुभ चौघड़िये आदि की जानकारी देते हैं. 

शुभ मास- कार्तिक मास कृष्ण पक्ष  
शुभ तिथि द्वादशी भद्रा संज्ञक तिथि सायं 6 बजकर 2 मिनट तक तत्पश्चात त्रयोदशी तिथि रहेगी. द्वादशी  तिथि में विवाह आदि मांगलिक, यज्ञोपवीत, गृह आरम्भ, प्रवेश, देव कार्य सहित सभी प्रकार के चर-स्थिर कार्य शुभ व सिद्ध होते हैं. द्वादशी तिथि में जन्मे जातक चंचल, अस्थिर, परोपकारी, ऐश्वर्यवान, धर्म परायण, गुणवान, होते हैं. 

पूर्वा फाल्गुनी "उग्र व अधोमुख" संज्ञक नक्षत् दोपहर 1 बजकर 50 मिनट तक रहेगा. पूर्वा फाल्गुनी नक्षत्र में विवाह आदि मांगलिक कार्य, बोरिंग कार्य इत्यादि कार्य विशेष रूप से सिद्ध होते हैं. पूर्वाफाल्गुनी नक्षत्र में जन्मा जातक शौकीन होते हैं.   

चन्द्रमा- सम्पूर्ण दिन सिंह राशि में संचार करेगा. 

व्रतोत्सव- रमा एकादशी व्रत, गौवत्स द्वादशी (प्रदोष व्यापनी)

धनतेरस पूजा मुहूर्त:-

प्रदोष काल मुहूर्त- सायं 5-52 मिनट से रात्रि 8-24 मिनट तक रहेगा

वृषभ लग्न मुहूर्त- रात्रि 7-10 मिनट से रात्रि 9-06 मिनट तक रहेगा    

सर्वश्रेष्ठ मुहूर्त धनतेरस पूजा-  रात्रि 07-10 मिनट से रात्रि 8-24 मिनट तक रहेगा. 

सर्वश्रेष्ठ यम दीपम मुहूर्त- सांयकाल 06-03 मिनट से रात्रि 07-08 मिनट तक रहेगा. 

चौघाडिया मुहूर्त:-
सायंकाल 06-03 मिनट से रात्रि 07-27 मिनट तक लाभ का चौघड़िया रहेगा. 
रात्रि 09-02 मिनट से  रात्रि 12-11 मिनट तक शुभ एवं अमृत का चौघड़िया रहेगा.