नई दिल्ली: दिल्ली की वायु गुणवत्ता बुधवार सुबह ‘खराब’ श्रेणी में दर्ज की गई, लेकिन हवा की अनुकूल गति के कारण इसमें दिन में सुधार होने की उम्मीद है. राष्ट्रीय राजधानी का औसत वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) 262 दर्ज किया गया, जो मंगलवार को अपराह्न चार बजे 227 था.
सोमवार को एक्यूआई 294 और रविवार को 303 दर्ज किया गया था. शून्य से 50 के बीच एक्यूआई ‘अच्छा’, 51 से 100 के बीच ‘संतोषजनक’, 101 से 200 ‘मध्यम’, 201 से 300 ‘खराब’, 301 से 400 के बीच ‘बहुत खराब’ और 401 से 500 के बीच एक्यूआई ‘गंभीर’ माना जाता है.
तीन दिनों में वायु गुणवत्ता में काफी सुधार हुआ:
शहर में न्यूनतम तापमान 13.2 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया, जबकि अधिकतम तापमान 28 डिग्री सेल्सियस के आसपास रहने का अनुमान है. उत्तर में बर्फ से ढके पर्वतीय इलाकों से आने वाली ठंडी हवाओं के कारण तापमान में और गिरावट होने की संभावना है. दिल्ली में हवा की गति बेहतर होने और पंजाब में पराली जलाए जाने की घटनाओं में गिरावट आने से पिछले तीन दिनों में वायु गुणवत्ता में काफी सुधार हुआ है.
मंगलवार को घटकर तीन प्रतिशत हो गया:
भारतीय कृषि अनुसंधान संस्थान (आईएआरआई) के आंकड़ों के अनुसार, पंजाब में मंगलवार को पराली जलाने की 141 घटनाएं दर्ज की गईं, जबकि सोमवार को महज चार घटनाएं सामने आई थीं. शनिवार को पंजाब में पराली जलाने की कुल 2,467 घटनाएं दर्ज की गई थीं. पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय के तहत आने वाली पूर्वानुमान एजेंसी ‘सफर’ के मुताबिक, दिल्ली में पीएम2.5 कणों से होने वाले प्रदूषण में पराली जलाने की घटनाओं का योगदान सोमवार को 13 प्रतिशत था, जो मंगलवार को घटकर तीन प्रतिशत हो गया.
सभी निर्माण तथा विध्वंस कार्यों पर प्रतिबंध था:
वायु गुणवत्ता में सुधार के मद्देनजर वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग ने सोमवार को प्राधिकारियों को दिल्ली-एनसीआर (राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र) में चरणबद्ध कार्रवाई कार्य योजना (जीआरएपी) के तीसरे चरण के तहत पाबंदियों को फौरन हटाने का निर्देश दिया था. दिल्ली-एनसीआर में जीआरएपी के तीसरे चरण के तहत आवश्यक परियोजनाओं को छोड़कर सभी निर्माण तथा विध्वंस कार्यों पर प्रतिबंध था. सोर्स-भाषा