जयपुर: राजस्थान की राजधानी जयपुर में जेसीटीएसएल (जयपुर सिटी ट्रांसपोर्ट सर्विसेज लिमिटेड) की लो-फ्लोर बसों में डीजल चोरी का बड़ा मामला सामने आया है.बसों से डीजल चोरी करने के कई वीडियो वायरल हो रहे हैं. शहर में सार्वजनिक परिवहन व्यवस्था की रीढ़ मानी जाने वाली ये लो-फ्लोर बसें अब भ्रष्टाचार और लापरवाही का शिकार होती नजर आ रही हैं. ताजा मामला नारायण विहार से नायला तक चलने वाली 32 नंबर की लो-फ्लोर बस का है, जिसमें नायला डिपो पर दिनदहाड़े डीजल चोरी करते हुए बस चालक का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया है.
सूत्रों की मानें तो यह कोई एक-दो बसों की बात नहीं है, बल्कि जेसीटीएसएल की बड़ी संख्या में बसों में डीजल चोरी की घटनाएं आम हो चुकी हैं. प्रतिदिन प्रति बस लगभग 30 से 40 लीटर डीजल चोरी होने की बात सामने आ रही है. यह डीजल चोरी ड्राइवरों और कुछ डिपो कर्मचारियों की मिलीभगत से की जा रही है. खास बात यह है कि यह सब कुछ इतनी योजनाबद्ध तरीके से किया जा रहा है कि इसकी भनक ऊपरी प्रबंधन तक नहीं पहुंच पाती - या फिर जानबूझकर अनदेखी की जा रही है.
जानकारी के मुताबिक, बस ड्राइवर डीजल चोरी करने के बाद कंपनी को झूठा ईंधन औसत (माइलेज) रिपोर्ट करते हैं. ऐसा करने से कंपनी को लगता है कि बस अधिक डीजल खा रही है, जबकि असल में यह डीजल चोरी किया जा रहा होता है. नतीजतन, न सिर्फ ईंधन का दुरुपयोग हो रहा है बल्कि सरकारी खजाने को भी प्रतिदिन हजारों रुपये का नुकसान उठाना पड़ रहा है.चौंकाने वाली बात यह है कि जब कभी कोई ड्राइवर या कर्मी डीजल चोरी करते हुए पकड़ा भी जाता है तो डिपो स्तर पर ही मामले को रफा-दफा कर दिया जाता है. ना तो उस पर कोई ठोस अनुशासनात्मक कार्रवाई होती है, ना ही पुलिस में शिकायत दर्ज की जाती है.
इससे ऐसे कर्मचारियों के हौसले और बढ़ते जा रहे हैं.नायला डिपो में वायरल हुए वीडियो के बाद आम नागरिकों और पारदर्शी प्रणाली की मांग कर रहे संगठनों ने जेसीटीएसएल प्रशासन से इस पूरे मामले की उच्चस्तरीय जांच की मांग की है. वीडियो में स्पष्ट रूप से बस ड्राइवर को डीजल चोरी करते हुए देखा जा सकता है, लेकिन अभी तक प्रशासन की ओर से कोई औपचारिक प्रतिक्रिया नहीं आई है.अब देखना यह होगा कि जेसीटीएसएल प्रबंधन इस गंभीर मामले में क्या कदम उठाता है. क्या यह एक और मामले की तरह फाइलों में दबा दिया जाएगा, या फिर डीजल चोरी जैसे गंभीर मामले पर सख्त एक्शन लेकर एक मिसाल कायम की जाएगी.