जयपुरः खान विभाग के अतिरिक्त निदेशकों पर जल्द ही अनुशासनात्मक कार्रवाई की जा सकती है. राजस्व से जुड़े मामले हों या फिर एलओआई जारी करने के प्रकरण सभी में पेंडेंसी बढ़ने के चलते खान विभाग को मोटा राजस्व नुकसान उठाना पड़ रहा है. पिछले दिनों खान विभाग की बैठक में सचिव आनंदी ने भी अतिरिक्त निदेशकों को जमकर फटकार लगाई और प्रदर्शन सुधारने को कहा अन्यथा कार्रवाई भुगतने की चेतावनी भी दी.
विभिन्न प्रकरणों में 471 अपील लंबित, राजस्व नुकसान का बड़ा कारण
जोधपुर एडीएम के पास 228, उदयपुर 120, जयपुर 108, कोटा 15 अपील लंबित
रिवीजन अपील उदयपुर 12, जोधपुर 3 और जयपुर 2 अपील लंबित
RCC/ERCC की जोधपुर 11 और उदयपुर में 2 अपील लंबित
LOI मंजूरी के उदयपुर 9, जयपुर और जोधपुर में 2-2 आवेदन लंबित
माइनिंग लाइसेंस मंजूरी के उदयपुर 14, जोधपुर 7 और जयपुर 3 आवेदन लंबित
आवेदन/बिड निरस्तीकरण के जोधपुर में 2 आवेदन लंबित
तबादले के जयपुर 6, जोधपुर 3 और कोटा एक आवेदन लंबित
शर्तों के उल्लंघन माइनिंग लाइसेंस निरस्त करने के जोधपुर 13, उदयपुर 6 मामले लंबित
नामांतरण के उदयपुर 7, जोधपुर-कोटा 5-5 व जयपुर 4 प्रकरण लंबित
ई फाइलिंग बहुत कम, दौरे, रात्रि पड़ाव व निरीक्षण लक्ष्य से काफी कम
ईसी पुनर्मूल्यांकन व फॉर्म 2 अपलोड करने के हजारों मामले लंबित
जोधपुर 9382, उदयपुर 2002, जयपुर 1501 और कोटा 741 प्रकरण लंबित
खनन राजस्व में पीछे रहे विभाग में अब अधिकारी बेलगाम हो चले हैं. फाइलों की पेंडेंसी बढ़ती जा रही है इससे न केवल राजस्व अर्जन पर विपरीत प्रभाव पड़ रहा है वरन योजनाओं को लागू करने और नए ब्लॉक्स की नीलामी सहित तमाम प्रशासनिक कार्य भी प्रभावित हो रहे हैं. अपील, रिवीजन अपील, रॉयल्टी संबंधी अपील आवेदन निस्तारित नहीं किए जा रहे. पँचनामो में डिमांड जारी करने में जानबूझकर देरी की जा रही है. माइनिंग लाइसेंस के आवेदन, निरस्तीकरण के आवेदन, तबादले और नीलामी तक के प्रकरणों में पेंडेंसी बढ़ना चिंताजनक है. ईसी पुनर्मूल्यांकन व फॉर्म 2 अपलोड करने के हजारों मामले लंबित चल रहे हैं. जोधपुर एडीएम के क्षेत्राधिकार में पेंडेंसी सबसे ज्यादा है जबकि उदयपुर और जयपुर की भी स्थिति बहुत ज्यादा अच्छी नहीं है. ऐसे में खनत राजस्व में नुकसान के साथ ही अन्य कार्य भी प्रभावित हो रहे हैं. पिछले दिनों खान विभाग की बैठक में सचिव आनंदी ने भी अतिरिक्त निदेशकों को जमकर फटकार लगाई. निदेशक भगवती प्रसाद कलाल ने भी चेतावनी देकर प्रदर्शन सुधारने को कहा है. हालांकि इसके बावजूद भी खान विभाग के अतिरिक्त निदेशक अपने प्रदर्शन को सुधारने की दिशा में काम करते दिखाई नहीं दे रहे.