नई दिल्ली: पुरी में भगवान जगन्नाथ रथयात्रा का शुभारंभ हो गया है. 53 साल बाद इस साल पुरी की रथयात्रा दो दिनों की होगी. इससे पहले 1971 में भगवान जगन्नाथ रथ यात्रा दो दिन चली थी. स्नान पूर्णिमा पर बीमार हुए भगवान जगन्नाथ आज सुबह ठीक हुए.
इसलिए रथ यात्रा से पहले होने वाले उत्सव भी आज ही मनाए जा रहे. भगवान जगन्नाथ की मंगला आरती सुबह 4 की बजाय रात 2 बजे हुई. मंगला आरती के बाद करीब ढाई बजे दशावतार पूजन हुआ. 3 बजे नैत्रोत्सव और 4 बजे पुरी के राजा की तरफ से पूजा की गई.
अब सूर्य पूजा के बाद भगवान को खिचड़े का भोग लगाया जाएगा. रथों की पूजा के बाद भगवान को कपड़ों में लपेटकर बाहर लाया जाएगा. रथयात्रा में ज्यादा भीड़ की संभावना के चलते नवयौवन दर्शन नहीं होंगे.
कल सुबह फिर से रथ खींचे जाएंगे, शाम तक रथयात्रा गुंडिचा मंदिर पहुंचेंगी. सोने का झाडू लगाने के बाद रथयात्रा शुरू होगी ,सबसे आगे बलभद्र का रथ रहेगा. बीच में बहन सुभद्रा और आखिरी में भगवान जगन्नाथ का रथ रहेगा .