जयपुर: भारतीय क्रिकेट में गब्बर के नाम से मशहूर सलामी बल्लेबाज शिखर धवन ने एक दशक से अधिक के क्रिकेट कॅरिअर के बाद अब इस खेल को अलविदा कह दिया है. धवन ने शनिवार सुबह अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट के तीनों फॉर्मेट से संन्यास का ऐलान कर दिया. उन्होंने सोशल मीडिया पर वीडियो पोस्ट कर इसकी जानकारी दी. धवन ने 2010 में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ वनडे टीम में शामिल होकर अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में पदार्पण किया था. 2022 में बांग्लादेश के खिलाफ उन्होंने आखिरी वनडे खेला था. उसके बाद से उन्हें टीम इंडिया में जगह नहीं मिली थी और आज उन्होंने क्रिकेट कॅरिअर का अलविदा कर दिया.
लंबे समय से कॅरिअर को लेकर चल रही अटकलों को विराम देते हुए भारतीय ओपनर शिखर धवन ने आखिरकार क्रिकेट से संन्यास ले लिया. शनिवार सुबह शिखर ने सोशल मीडिया पर एक मिनट 17 सेकेंड का वीडियो पोस्ट करके संन्यास के बारे में जानकारी दी. शिखर ने वीडियो में सिर्फ बचपन के 2 कोच का नाम लिया. शिखर धवन अब इंटरनेशनल क्रिकेट और घरेलू क्रिकेट से संन्यास का ऐलान कर चुके हैं तो इस चीज पर बात होनी बनती है कि गब्बर क्यों खास थे? शिखर को मिस्टर ICC, परफेक्ट टीम मैन, यारों का यार कहा जाता था, जितना शानदार मैदान पर खेलते थे, उतना ही बेहतरीन उनका ड्रेसिंग रूम में व्यवहार था.
शिखर धवन के करियर पर नजर:
-धवन दुनिया के उन आठ बल्लेबाज़ों में शामिल हैं जिन्होंने वनडे इंटरनेशनल मैचों में 40 से ज़्यादा के औसत से पांच हज़ार रन से ज़्यादा बनाए हैं.
-इन मैचों में उनका स्ट्राइक रेट 90 से ऊपर का रहा है.
-इस सूची में भारतीय बल्लेबाजों में सिर्फ रोहित शर्मा और विराट कोहली शामिल हैं.
-शिखर धवन ने टेस्ट में अपनी शुरुआत ही धमाकेदार तरीके से की थी.
अपने टेस्ट करियर की शुरुआत में उन्होंने पहले ही मैच में ऑस्ट्रेलिया के ख़िलाफ़ शतक ठोका था.
-मोहाली में खेले गए इस टेस्ट मैच में उन्होंने 85 गेंदों में शतक बना लिया था.
यह पदार्पण कर रहे किसी भी बल्लेबाज़ का सबसे तेज शतक है.
-इस मैच में उन्होंने 187 रन बनाए थे और ये मैच भारत के खाते में गया था.
2013 में शिखर धवन के कॅरिअर का चरम था.
-इस साल उन्होंने वनडे में 50.52 के औसत और 97.89 के स्ट्राइक रेट से 1162 रन बनाए था.
-इस साल चैंपियंस ट्रॉफी में भारत की जीत में भी उन्होंने अहम भूमिका निभाई थी.
-चैंपियंस ट्रॉफी की पांच पारियों में उन्होंने 363 रन बनाए थे इनमें दो शतक थे.
इसी टूर्नामेंट से रोहित शर्मा के साथ सलामी बल्लेबाज़ की उनकी जोड़ी बनी.
-सलामी बल्लेबाज़ की जोड़ी के तौर पर उन्होंने वनडे क्रिकेट की चौथी सबसे अच्छी पारी खेली थी.
-सचिन तेंदुलकर और सौरभ गांगुली के बाद ये भारत की सबसे सफल सलामी बल्लेबाज़ जोड़ी साबित हुई.
2010 में वनडे से किया था अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में आगाज:
-भारत के लिए पहला वनडे 2010 में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ विशाखापट्टनम में खेला था
-शिखर 167 वनडे मैचों में 6793 रन बना चुके हैं
-धवन ने 44.11 की औसत और 91.35 की स्ट्राइक रेट से रन बनाए हैं
-उनके नाम 17 शतक और 39 अर्धशतक हैं.
-शिखर ने 2011 में श्रीलंका के खिलाफ टी-20 में पदार्पण किया था
-68 मैचों में धवन ने 1759 रन बनाए हैं
-उनके बल्ले से 11 अर्धशतक निकले हैं.
धवन ने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ मोहाली में पहला टेस्ट खेला था:
-2013 से वे अब तक 34 टेस्ट में हिस्सा ले चुके हैं
-धवन को पिछली बार 2018 में टेस्ट मैच में खेलने का मौका मिला था
-धवन ने टेस्ट में 40.61 की औसत से 2315 रन बनाए
-इस दौरान सात शतक और पांच अर्धशतक लगाए
-धवन का सर्वाधिक स्कोर 190 रन है
शिखर IPL में पहले सीजन से जुड़े:
-2008 में वे दिल्ली के लिए राजस्थान रॉयल्स के खिलाफ पहला मैच खेलने उतरे थे
-धवन ने 222 आईपीएल मैचों में 6769 रन बनाए हैं
-इस दौरान दो शतक और 51 अर्धशतक लगाए हैं
-धवन का औसत 35.26 और स्ट्राइक रेट 127.14 का रहा है
-शिखर इस टूर्नामेंट के इतिहास में सबसे सफल बल्लेबाजों में एक हैं
-आखिरी मैच 2024 में पंजाब किंग्स की ओर से हैदराबाद के खिलाफ खेला था
-इस सीजन में वे इंजरी के कारण कई मैच नहीं खेल पाए
धवन के क्रिकेट रिकॉर्ड्स कुछ ऐसे ही है जिनके कारण वे क्रिकेट के गब्बर कहलाए. ऐसे जांबाज खिलाड़ी है, जिन्होंने फ्रैक्चर अंगूठे के साथ शतक लगाया. 2019 के वनडे वर्ल्ड कप के दौरान ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ पैट कमिंस की बॉल शिखर धवन के अंगूठे में लग गई. 150 की स्पीड की बॉल से लगी चोट से धवन का अंगूठा टूट गया, लेकिन शिखर ने टूटे अंगूठे से बल्लेबाजी जारी रखी. उन्होंने इस मुकाबले में शतक जमाया. उन्होंने 117 रन की पारी खेली. धवन ने इसे फेवरेट बताया था.
इस मुकाबले में धवन ने रोहित शर्मा के साथ 127 रन की ओपनिंग और विराट कोहली के साथ 93 रन की साझेदारी की थी. धवन की पारी में 16 चौके शामिल रहे. इस मैच को इंडिया ने 36 रनों से जीता था. धवन का ताल ठोंक या कबड्डी स्टाइल सेलिब्रेशन फैंस के बीच काफी लोकप्रिय है. वे जब भी कोई कैच लेते हैं तो मैदान पर ताल ठोंककर सेलिब्रेट करते हैं. उन्होंने ऑस्ट्रेलिया दौरे पर शेन वॉटसन का कैच लेने के बाद पहली बार यह सेलिब्रेशन किया था, जिसे खूब पसंद किया गया. इस सेलिब्रेशन के बाद उन्हें फैंस ने गब्बर का टाइटल दिया. उनका यह सेलिब्रेशन ट्रेडमार्क बन गया.