वाशिंगटन: अमेरिका और कनाडा के 200 से अधिक सिनेमाघरों में शुक्रवार को विवादित फिल्म द केरल स्टोरी रिलीज हुई. निर्देशक सुदीप्तो सेन ने कहा है कि यह फिल्म एक मिशन है, जो सिनेमा की रचनात्मक सीमाओं से परे है. सेन ने डिजिटल संवाददाता सम्मेलन के दौरान भारतीय और अमेरिकी पत्रकारों के समूह से कहा कि देश केरल राज्य में लंबे समय से जारी समस्या को अनदेखा कर रहा था. द केरल स्टोरी एक मिशन है, जो सिनेमा की रचनात्मक सीमाओं से परे है, एक ऐसा आंदोलन है जिसे दुनिया भर के लोगों तक पहुंचना चाहिए और जागरूकता बढ़ानी चाहिए.
फिल्म के निर्माता विपुल शाह ने कहा कि फिल्म में जो दिखाया गया है, उसे लोगों से छिपाया गया था और इसे बताया जाना चाहिए था. हमने दुनिया भर में इस बारे में चर्चा शुरू करने के लिए फिल्म बनाई.फिल्म में तीन लड़कियों की कहानी बताई गई है जो कथित तौर पर इस्लाम धर्म कबूल करके आईएसआईएस में शामिल हो गई थीं.
भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) सहित हिंदू दक्षिणपंथियों ने इस फिल्म का समर्थन किया है. तमिलनाडु के सिनेमाघरों ने फिल्म का बहिष्कार किया है. फिल्म के टीजर की काफी आलोचना हुई है, जिसमें दावा किया गया था कि केरल की 32,000 लड़कियां आईएसआईएस में शामिल होने के लिए राज्य से भाग गई थीं. केरल उच्च न्यायालय ने निर्माताओं से प्रचार अभियान से फिल्म का टीजर हटाने के लिए कहा था. ममता बनर्जी के नेतृत्व वाली पश्चिम बंगाल सरकार ने इस फिल्म पर प्रतिबंध लगा दिया है. सोर्स भाषा