जैसलमेर: नवरात्र और विजयादशमी के बाद स्वर्णनगरी के लिए खुशियों का संदेश लाया है. बड़ी संख्या में बंगाली सैलानियों की आवक और आने वाले दिनों में उनकी संख्या में और बढ़ोतरी होने की उम्मीदों से जैसलमेर (Jaisalmer) का पर्यटन सहित समूचा बाजार तंत्र आल्हादित है. सोनार दुर्ग सहित शहर के तमाम दर्शनीय और ऐतिहासिक स्थलों के अलावा सम सेंड ड्यून्स पर बंगाली सैलानियों की चहल-पहल दिन से रात तक देखी जा रही है.
वहीं नवरात्रि का पर्व खत्म होते ही दशहरा से बंगाली सैलानी यहां आने शुरू हो गए हैं. जैसलमेर में सुबह से सैलानियों की रौनक दर्शनीय स्थलों और सड़कों पर नजर आना शुरू होती है और यह सिलसिला रात तक चलता है. इससे होटल्स, रिसोट्र्स, रेस्टोरेंट्स, चाय-नाश्ते के ठेलों और थड़ियों तक में व्यवसाय बल्लियों उछलता दिखता है. पश्चिम बंगाल की राजधानी कोलकाता सहित आसपास के शहरों से ज्यादातर सैलानी जैसलमेर पहुंच रहे हैं. उनके आकर्षण का सबसे बड़ा केंद्र सोनार किला है.