आबकारी नीति के दस्तावेज पर अंतिम मुहर बैजल ने लगाई थी, उनकी जांच हो- गोपाल राय

नई दिल्ली: आप के दिल्ली संयोजक गोपाल राय ने सोमवार को कहा कि तत्कालीन उपराज्यपाल अनिल बैजल ने 2021-22 के लिए आबकारी नीति को मंजूरी दी थी और उनकी भी जांच और पूछताछ की जानी चाहिए. इस नीति को अब रद्द कर दिया गया है. आबकारी नीति घोटाला मामले में मनीष सिसोदिया की गिरफ्तारी के एक दिन बाद आप नेताओं और कार्यकर्ताओं ने विभिन्न राज्यों में विरोध प्रदर्शन किया. 

राय ने आरोप लगाया कि सीबीआई की कार्रवाई दिल्ली के उपमुख्यमंत्री को फंसाने की साजिश थी. राय ने कहा कि आबकारी नीति के दस्तावेजों पर अंतिम मुहर लगाने वाले एलजी (अनिल बैजल) थे. तो उससे पूछताछ क्यों नहीं की जा रही है? अगर एजेंसियां पारदर्शी हैं तो उन्हें एलजी से भी पूछताछ करनी चाहिए थी. साफ है कि मनीष सिसोदिया को फंसाने की साजिश रची गई है. उन्होंने यह भी दावा किया कि सभी स्थानों पर तलाशी के बावजूद सीबीआई को सिसोदिया के खिलाफ कुछ नहीं मिल सका. दिल्ली के मंत्री ने आरोप लगाया, “अदालत ने मनीष सिसोदिया को पांच दिन की सीबीआई हिरासत में भेज दिया है, लेकिन उन्हें कुछ नहीं मिलेगा. 

अगर अडाणी प्रधानमंत्री के दोस्त न होते तो उनसे भी सीबीआई और ईडी पूछताछ करती. उन्होंने कहा कि अगर कोई इस तरह की छापेमारी से हमें डराने की कोशिश कर रहा है तो हम रुकने वाले नहीं हैं. हम लड़ते रहेंगे. सीबीआई की एक विशेष अदालत ने सोमवार को सिसोदिया को चार मार्च तक केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो की पांच दिन की हिरासत में भेज दिया. सोर्स- भाषा