जन आधार कार्ड से जुड़े काम हुए ठप, हजारों लोग रोज हो रहे परेशान, देखिए खास रिपोर्ट

जयपुरः राजस्थान में जन आधार कार्ड से जुड़े काम पिछले एक महीने से पूरी तरह ठप पड़े हैं. इसकी वजह आईटी विभाग की बड़ी लापरवाही मानी जा रही है. जन आधार कार्ड नहीं बनने से प्रदेश में हजारों लोग परेशान हो रहे हैं.  

आईटी विभाग ने बीते महीने अचानक पुराने जन आधार पोर्टल को बंद कर नया अपग्रेडेड वर्जन लॉन्च किया था. दावा किया गया था कि नया पोर्टल ज्यादा आधुनिक, तेज और पारदर्शी होगा, लेकिन शुरुआत के साथ ही यह तकनीकी खामियों की भेंट चढ़ गया. नतीजा यह हुआ कि ना तो नए आवेदक कार्ड बनवा पा रहे हैं और न ही पहले से आवेदन कर चुके लोग अपने आवेदन की स्थिति जान पा रहे हैं.जानकारी के अनुसार, प्रदेश में हर दिन हजारों लोग जन आधार कार्ड से जुड़े कार्यों के लिए ई-मित्र और जन सेवा केंद्रों पर पहुंचते हैं. इनमें से कई लोग नए कार्ड बनवाने आते हैं, तो कई पुराने कार्ड में सुधार या अपडेट करवाना चाहते हैं. लेकिन पोर्टल की गड़बड़ी के कारण कोई भी प्रक्रिया पूरी नहीं हो पा रही. ऐसे में लोगों को रोजाना मायूस होकर लौटना पड़ रहा है.जन आधार कार्ड प्रदेशवासियों के लिए पहचान पत्र भर नहीं है, बल्कि यह विभिन्न सरकारी योजनाओं, सब्सिडी, छात्रवृत्ति और सार्वजनिक वितरण प्रणाली का मुख्य आधार बन चुका है. नए राशन कार्ड बनाने, पेंशन योजनाओं में पंजीकरण कराने और विद्यार्थियों को छात्रवृत्ति दिलाने में जन आधार कार्ड अनिवार्य है. ऐसे में पोर्टल की खामियों के चलते हजारों लोगों के महत्वपूर्ण कार्य अटक गए हैं.     

जन आधार कार्ड नहीं बनने से ग्रामीण इलाकों में स्थिति और भी गंभीर है. वहां के लोगों के पास ऑनलाइन साधनों की कमी होने के कारण वे पूरी तरह ई-मित्र और जन सेवा केंद्रों पर निर्भर रहते हैं. केंद्र संचालक खुद असहाय हैं क्योंकि उनके पास भी पोर्टल न चलने की स्थिति में कोई विकल्प नहीं है. कई जगहों पर लोगों ने नाराज होकर विरोध भी जताया और विभागीय अधिकारियों से तत्काल समाधान की मांग की.विशेषज्ञों का कहना है कि नए पोर्टल को शुरू करने से पहले आईटी विभाग को उसका पूरा परीक्षण करना चाहिए था. अचानक पुराने पोर्टल को बंद करके बिना ठोस तैयारी के नया सिस्टम लागू कर देना एक बड़ी चूक साबित हुआ है. इसने सीधे-सीधे आमजन को परेशानी में डाल दिया है. यदि समय रहते समस्या का समाधान नहीं किया गया तो आने वाले समय में सरकारी योजनाओं का लाभ लेने वाले लाभार्थियों की संख्या प्रभावित हो सकती है. इधर, विभागीय अधिकारी मान रहे हैं कि पोर्टल में तकनीकी खामियां हैं और इसे दूर करने की प्रक्रिया चल रही है. उनका कहना है कि जल्द ही नया पोर्टल सुचारू रूप से काम करने लगेगा. हालांकि, आमजन का कहना है कि जब तक समस्या पूरी तरह हल नहीं होती, तब तक पुराने पोर्टल को अस्थाई रूप से फिर से चालू किया जाना चाहिए ताकि आवश्यक कार्य अटके नहीं.