नई दिल्ली: कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने मंगलवार को आरोप लगाया कि ‘अग्निपथ’ योजना राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) और गृह मंत्रालय द्वारा लाई गई है और इसे सेना पर थोपा गया है. उन्होंने राष्ट्रपति के अभिभाषण पर सदन में लाए गए धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा में भाग लेते हुए अपनी ‘भारत जोड़ो यात्रा’ के अनुभव का उल्लेख किया और कहा कि उन्हें इस दौरान जनता की आवाज को बहुत गहराई से सुनने का मौका मिला.
उन्होंने कहा कि यात्रा के दौरान मुझे बहुत कुछ सुनने को मिला. सबसे ज्यादा जिन मुद्दों के बारे में लोगों ने मुझसे कहा, उनमें बेरोजगारी, महंगाई और किसानों की समस्याएं प्रमुख हैं. राहुल गांधी ने कहा कि हिंदुस्तान के युवा सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की बात से सहमत नहीं है कि युवाओं को ‘अग्निवीर’ बनाने वाली योजना से उन्हें फायदा होगा.
उन्होंने कहा कि सेना के वरिष्ठ अधिकारियों और अनेक लोगों ने मुझसे कहा कि यह योजना आरएसएस और गृह मंत्रालय से आई है. यह योजना सेना से नहीं आई है. यह योजना सेना पर थोपी गई है. कांग्रेस नेता ने कहा कि राष्ट्रपति के अभिभाषण में बहुत सारी बातें बोली गईं, लेकिन अग्निपथ योजना के बारे में सिर्फ एक बार बोला गया और यह नहीं बताया गया कि यह योजना कहां से आई, किसने बनाई. उन्होंने देश के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (एनएसए) का नाम लेते हुए दावा किया कि यह योजना उन्होंने बनाई है.
अभिभाषण में बेरोजगारी और महंगाई जैसे शब्द एक भी बार नहीं आए:
राहुल गांधी ने दावा किया कि राष्ट्रपति के अभिभाषण में बेरोजगारी और महंगाई जैसे शब्द एक भी बार नहीं आए. उन्होंने यह भी कहा कि वह अपनी ‘भारत जोड़ो यात्रा’ के दौरान देश में जहां भी गए, हर जगह ‘अडाणी’ नाम सुनने को मिला. उद्योगपति गौतम अडाणी के समूह से जुड़े हालिया घटनाक्रम की पृष्ठभूमि में उनके नाम का जिक्र करते हुए राहुल गांधी ने कहा कि मैं देश में जहां-जहां गया, हर जगह एक ही नाम ‘अडाणी’ सुनाई दिया; लोगों ने पूछा कि इनका हिंदुस्तान के प्रधानमंत्री के साथ क्या रिश्ता है. सोर्स- भाषा