जयपुरः राजस्थान विधानसभा में विधायकों की प्रशिक्षण कार्यशाला का आयोजन हो रहा है. इस दौरान घनश्याम तिवाड़ी ने अपने प्रबोधन संबोधन में कहा कि मैंने अपने संसदीय जीवन में एक भी डिजायर नहीं की. मैंने 40 साल के संसदीय जीवन में एक भी डिजायर नहीं की. मंत्री रहा तो एक भी गवर्नमेंट ऑर्डर नहीं किया. इन सबके किए बगैर भी आप दिशा निर्देशों की पालना कर सकते हैं.
विधायक मेरी बात का बुरा ना माने. डिजायर करना भी विशेषाधिकार का हनन माना जाता है. इस अधिकारी को इधर लगा दो उधर लगा दो. लेकिन आजकल तो डिजायर सिस्टम बन गया है. विशेषाधिकार नहीं हो तो सदन की कार्यवाही नहीं चल सकती. आर्टिकल 194 में प्रिविलेज की व्यवस्था है.
तिवाड़ी ने पर्ची का जिक्र करते हुए कहा कि यह पर्ची बड़ी खतरनाक चीज है. जब यह निकलती है तो अच्छे अच्छों के होश उड़ जाते हैं. इस दौरान सदन में जोरदार ठहाके लगे. उन्होंने आगे कहा कि आसन से आंख मिलाना सीख लो. ज्यों ही आसन से आंख मिली. तो आपको बोलने का अधिकार मिल जायेगा.
उन्होंने जनमत जानने की प्रक्रिया के बारे में बताया और कह कि सामान्य संसाधन पर चर्चा हो सकती है. प्रवर समिति के पास बिल भेजा जा सकता है.