जैसलमेर: दीपावली के पर्व के साथ ही वेकेशन पर आए गुजरातियों से गोल्डन सिटी जैसलमेर गुलजार हुई है. दीपावली के दिन से ही जैसलमेर में सैलानियों की संख्या बढ़ने लगी थी. हर ओर टूरिस्ट ही नजर आ रहे हैं. टूरिज्म से जुड़े कारोबारियों के चेहरे खिल उठे हैं. ज्यादातर सैलानी गुजरात से आए हैं. दीपावली सीजन में ये शहर गुजरातियों से आबाद है. भीड़ इतनी हो गई है कि पर्यटन स्थलों पर जाम सा लग गया है.
सोनार किले में जाने वाला रास्ता ही जाम हो गया. सैलानियों में ज्यादातर गुजराती हैं. दरअसल दीपावली सीजन में लंबे वेकेशन मिलने पर गुजराती घूमने निकल पड़ते हैं और गोल्डन सिटी को आबाद करते हैं. गुजरातियों की आवक से जैसलमेर के टूरिस्ट बिजनेस से जुड़े लोगों के साथ स्थानीय निवासी भी बेहद खुश हैं. जैसलमेर के पर्यटन स्थलों पर इन दिनों सैलानियों की भीड़ है. सबसे ज्यादा गुजरात से टूरिस्ट आ रहे हैं.
सोनार किला, गड़िसर सरोवर, पटवा हवेली आदि स्थानों पर अच्छी-खासी भीड़ देखी जा रही है. भीड़ इतनी है कि पर्यटन स्थलों पर जाम लग गया है. सोनार दुर्ग जाने वाला रास्ता तो हर सुबह जाम हो ही जाता है. हजारों की संख्या में हर साल गुजराती जैसलमेर आते हैं और इस साल भी सैलानियों के आने से जैसलमेर गुलजार हो गई है. आपको बता दें कि दिवाली के बाद से ही गुजराती पर्यटकों का फ्लो बढ़ गया है. गुजरात से आए सैलानियों का कहना है कि दीपावली से गुजरात में छुट्टियां हो जाती हैं. लाभ पंचम तक हम लोग घूमने निकल जाते हैं. जैसलमेर को इंडिया का नंबर वन टूरिस्ट प्लेस मानते हैं.
ऐतिहासिक शहर के पीले पत्थर और उनसे बनी हवेलिया और किले सबको अपनी ओर खींचते हैं. सैलानियों ने बताया कि जैसलमेर जैसी शांत और प्यारी जगह कहीं नहीं देखी. सोने जैसी पीली नगरी और इसकी रेत यहां खींच लाई है. हम यहां रेत के टीलों पर कैमल राइडिंग करेंगे. साथ ही भारत-पाकिस्तान बॉर्डर स्थित तनोट माता मंदिर के दर्शन करेंगे. उनके परिवार की इच्छा है कि वे भारत-पाकिस्तान बॉर्डर भी देखें.