जोधपुर : मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा जोधपुर दौरा है. जहां मारवाड़ इंटरनेशनल ऑडिटोरियम में लोकतंत्र सेनानियों का सम्मान समारोह को उन्होंने संबोधित किया. इस अवसर पर उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने लोकतंत्र को समाप्त करने का काम किया. गहलोत साहब आप आईने में देखिए. आप कुर्सी के लिए कहां तक जा सकते हो यह देश की जनता जानती है.
देश की जनता जानती है आप कुर्सी के लिए कितने गिर सकते हो. प्रधानमंत्री बनने के लिए कांग्रेस ने देश का बंटवारा किया. कांग्रेस ने देश में चुनी हुई सरकारों को गिराने का काम किया. हमने लोकतंत्र सेनानियों को सम्मान दिया. कांग्रेस की सरकार आते ही लोकतंत्र सेनानियों का सम्मान बंद कर दिया.
आपातकाल में हमारी पीढ़ियों ने वह दंश झेला है:
50 साल पहले भी 26 जून को गुरुवार था. लेकिन वह सुबह देश के लिए आपातकाल लेकर आई थी. कांग्रेस कहती है कि 50 साल बाद आपातकाल क्यों याद करते है. मैं कहना चाहूंगा कि यह तो याद करेंगे. क्योंकि इनकी पीढ़ियों ने वह दंश झेला है. आपातकाल में इन सेनानियों को बहुत यातनाएं दी. कांग्रेस कहती यह भूलने वाली बात है. पाप कभी भूला नहीं जाता. भारत माता के नारे लगाने वालो को जेलों में ठूस दिया गया.
सरदार पटेल होते तो देश का बंटवारा नहीं होता:
भजनलाल शर्मा ने आगे कहा कि गहलोत जी आपका परिवार का कोई बंद होता उस समय परिवार में तो आपको भी दुख होता. कोई घटना घट जाती तो क्या होता. आप कुर्सी के लिए क्या-क्या कर सकते है यह देश जानती है. देश के बंटवारे के साथ आजादी की शुरुआत हुई. सरदार पटेल होते तो देश का बंटवारा नहीं होता. आपातकाल इसलिए लगाया क्योंकि इंदिरा गांधी के चुनाव लड़ने पर रोक लगाई थी.
कांग्रेस ने कितने प्रदेशों में चुनी हुई सरकारों की बर्खास्त किया:
कांग्रेस ने राजनीति और कुर्सी के लिए देश को बर्बाद करने का काम किया. यह जनता धीरे-धीरे सब जानती है. कितने प्रदेशों में चुनी हुई सरकारों की बर्खास्त किया. देश की जनता हर गलती का जवाब मांगती है. आपको इस गलती का जवाब देना पड़ेगा. वसुंधरा राजे की सरकार ने लोकतंत्र सेनानियों को सम्मान देना चाहा. लेकिन जब कांग्रेस की सरकार आई तो उसे खत्म कर दिया.
लोकतंत्र के सेनानियों ने लोकतंत्र को पुनर्जीवित करने का काम किया:
आप आपातकाल लगाना गलती मानते है तो फिर अपने इसे बंद क्यों किया. अबकी बार हमारी सरकार ने कैबिनेट से पास करवा कर इसे लागू किया. अब इसे कोई खत्म नहीं कर सकता. विरोधियों को जेल में डाला लेकिन पत्रकारों को भी जेल में ठूस दिया. उन्हें दवा, भोजन भी नहीं दिया गया. लेकिन आप लोकतंत्र के सेनानियों ने लोकतंत्र को पुनर्जीवित करने का काम किया.
कांग्रेस की तानाशाही की आदत अभी भी नहीं गई:
राष्ट्रवादी संगठन पर प्रतिबंध लगा दिया. लेकिन फिर भी उन्होंने अंडर ग्राउंड में रहकर काम किया. कांग्रेस ने हर विपक्षी आवाज को दबाने कुचलने का काम किया. 50 वर्ष बाद भी कांग्रेस उसी सिद्धांत पर चल रही है. तानाशाही की आदत अभी भी नहीं गई है. जो पार्टी पंचायत से लेकर पार्लियामेंट तक थी धीरे-धीरे उनकी जमीन खिसकती जा रही, उन्हें कोई आइडिया नहीं. मैंने कहा है कि डेढ़ साल बनाम पांच साल. लेकिन उनको यह अच्छा नहीं लगता. उपचुनाव भाजपा भारी मतों से विजयी हुई. लेकिन कांग्रेस को अपनी जमीन नहीं दिखती.
डबल इंजन की सरकार है यह रुकने वाली नहीं है:
यह तो शुरुआत है जो दर्द अपने देश की जनता को दिया है. जनता वह भूलने वाली नहीं है. जब गांधी परिवार पर कोई आंच आती है तो कांग्रेस शोर मचाती है, संविधान बचाने की बात करते है. अपने संविधान बनाने वाले बाबासाहेब को सम्मान नहीं दिया. उन्हें टिकिट नहीं दिया और जा उन्होंने चुनाव लड़ा तो उन्हें हराने का काम किया. बाबासाहेब को भाजपा ने सम्मान दिया इसलिए उन्हें छटपटाहट हो रही है. डबल इंजन की सरकार है यह रुकने वाली नहीं है,