जयपुर: प्रदेश में सार्वजनिक परिवहन के सबसे बड़े माध्यम राजस्थान रोडवेज में ऑनलाइन टिकिट बुकिंग की प्रकिया महज खानापूर्ति बन कर रह गई है. परिचालकों की लापरवाही के कारण गिने चुने यात्री ही ऑनलाइन टिकिट बुक कर रहे हैं.
राजस्थान राज्य परिवहन निगम की ओर से ऑनलाइन टिकट को बढ़ावा तो दिया जा रहा है, लेकिन परिचालकों के गैर जिम्मेदार रवैये से यात्रियों का ई-टिकट से भरोसा उठ रहा है. यही कारण है कि करीब 10 साल पहले रोडवेज बसों में शुरू हुई ई-टिकट व्यवस्था आगे नहीं बढ़ पा रही है. रोडवेज की बसों में रोज करीब आठ लाख यात्री सफर कर रहे हैं, इनमें से महज एक लाख यात्री ही ऑनलाइन टिकट बुक कर रहे हैं. इस हिसाब से करीब 12 फीसदी यात्री ही ई-टिकट बुक कर रहे हैं. जबकि ई-टिकट का ग्राफ निजी बसों में आगे हैं. जयपुर से संचालित होने वाली करीब डेढ़ हजार बसों में रोज 60 से 70 हजार यात्री सफर कर रहे हैं. इन बसों में 80 फीसदी तक यात्री ई-टिकट से यात्रा कर रहे हैं. रोडवेज प्रशासन की ओर से बरती जाने वाली ढिलाई के कारण यात्री रोडवेज बसों में ई-टिकट लेने में दिलचस्पी नहीं ले रहे हैं.
ऑनलाइन बुक फिर भी छूट जाती, बसों में झगड़े हो रहे रोडवेज बसों में सीट को लेकर झगड़े सामने आ रहे हैं. ऑनलाइन सीट बुक होने के बाद भी यात्री को भाग-दौड़कर अपनी सीट लेनी पड़ रही है. कारण है कि बस स्टैंडों पर ऑनलाइन बुक की हुई सीट पर दूसरे यात्री आकर बैठ रहे हैं. ऐसे में परिचालकों की ओर से बस में सख्ती नहीं की जा रही है. ऑनलाइन टिकट बुक होने के बाद भी परिचालक यात्री को सीट नहीं दिला पा रहे हैं. वे पूरे मामले से अपना पल्ला झाड़ रहे हैं. हालत यह है कि सीट बुक होने के बाद भी यात्री को खड़े होकर यात्रा करनी पड़ती है.
एक तरफ देश और प्रदेश में डिजिटिलाइज़ेशन पर ज़ोर दिया जा रहा है तो वहीं रोडवेज के अधिकारी इसे लेकर गंभीर नहीं है. लगातार शिकायतों के बाद भी रोडवेज के अधिकारी ऑनलाइन टिकिट बुक कराने वाले यात्रियों को ही सीट मिले तय नहीं करा पा रहे हैं. रोडवेज के अन प्रोफेशनल परिचालकों के रवैये के कारण यात्री ऑनलाइन टिकिट बुक कराने से बच रहे हैं. दूसरे प्रदेश के यात्रियों को काफ़ी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है.
अगर रोडवेज के अधिकारी ऑनलाइन टिकिट व्यवस्था को मजबूत करें तो रोडवेज को आर्थिक फायदा भी होना तय है क्योंकि जितनी अधिक सीटें ऑनलाइन बुक जिन्हें उतना ही राजस्व रिसाव कम होगा.
- रोडवेज बसों में ऑनलाइन टिकट व्यवस्था को मजबूत करने के लिए रोडवेज को सख्त कदम उठाने होंगे.
- शिकायत नंबर जारी करें और बुक सीट पर बैठने वाले यात्री पर जुर्माना लगाएं.
- ऑनलाइन टिकट बढ़ेंगे तो यात्रीभार में भी बढ़ोतरी होगी.
- इसके लिए परिचालक को पाबंद करना होगा .
- ऑनलाइन बुक सीट पर दूसरे यात्री के बैठने पर जुर्माना के प्रावधान तय करना होगा.
- इसी के साथ बसों में किसी भी समस्या से जूझ रहे यात्री की सुनवाई जरूरी है.
- इसके लिए हेल्पलाइन नंबर के जरिए त्वरित सुनवाई करनी होगी.