नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी शुक्रवार को आपदा जोखिम न्यूनीकरण राष्ट्रीय मंच (एनपीडीआरआर) के तीसरे सत्र का उद्घाटन करेंगे. प्रधानमंत्री कार्यालय (पीएमओ) ने बृहस्पतिवार को एक बयान में यह जानकारी दी.
स्थानीय विज्ञान भवन में आयोजित एनपीडीआरआर के दो दिवसीय तीसरे सत्र का विषय जलवायु परिवर्तन के मद्देनजर स्थानीय लचीलेपन का निर्माण है. पीएमओ के मुताबिक, यह विषय जलवायु परिवर्तन के मद्देनजर विशेष रूप से तेजी से बदलते आपदा जोखिम परिदृश्य के संदर्भ में स्थानीय क्षमताओं के निर्माण के लिए प्रधानमंत्री द्वारा घोषित 10-सूत्रीय एजेंडे से जुड़ा है.
मिजोरम का लुंगलेई फायर स्टेशन हैं:
प्रधानमंत्री इस कार्यक्रम के दौरान सुभाष चंद्र बोस आपदा प्रबंधन पुरस्कार विजेताओं को सम्मानित करेंगे. वर्ष 2023 के लिए इस पुरस्कार के विजेता ओडिशा राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (ओएसडीएमए) और मिजोरम का लुंगलेई फायर स्टेशन हैं. इस अवसर पर प्रधानमंत्री आपदा जोखिम न्यूनीकरण के क्षेत्र में अभिनव विचारों और पहलों, उपकरणों और प्रौद्योगिकियों को प्रदर्शित करने के लिए आयोजित एक प्रदर्शनी का भी उद्घाटन करेंगे.
प्रतिनिधियों सहित 1000 विशिष्ट अतिथि शामिल:
एनपीडीआरआर में केन्द्रीय मंत्रियों, राज्यों के आपदा प्रबंधन मंत्रियों, सांसदों, स्थानीय स्वशासन के प्रमुख, विशिष्ट आपदा प्रबंधन एजेंसियों के प्रमुख, शिक्षाविद, निजी क्षेत्र के संगठनों, मीडिया और नागरिक संस्थाओं के प्रतिनिधियों सहित 1000 विशिष्ट अतिथि शामिल हैं. केन्द्रीय गृह और सहकारिता मंत्री अमित शाह की अध्यक्षता में एनपीडीआरआर एक बहु-हितधारक राष्ट्रीय मंच है. इस मंच के सभी हितधारक आपदा जोखिम में कमी (डीआरआर) के बारे में विचारों, कार्य प्रणालियों और प्रवृत्तियों पर चर्चा और विचारों का आदान-प्रदान करते हैं. एनपीडीआरआर का पहला और दूसरा सत्र क्रमश: 2013 और 2017 में आयोजित किया गया था. सोर्स-भाषा