जयपुर: बिहार चुनाव रिजल्ट के बाद कांग्रेस ने अब एसआईआर प्रक्रिया के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है. एसआईआर को लेकर दिल्ली में राहुल गांधी ने 12 राज्यों और केन्द्र शासित प्रदेश के नेताओं के साथ महामंथन किया. पार्टी ने इस मुद्दे पर सदन से लेकर सड़क तक लड़ाई और तेज करने का फैसला लिया है. जिसके तहत दिसंबर के पहले हफ्ते में दिल्ली में एक विशाल रैली भी होगी.
बिहार में करारी हार के बाद कांग्रेस ने वोट चोरी और एसआईआर के खिलाफ लड़ाई और तेज करने का फैसला लिया है. आज इस मुद्दे को लेकर कांग्रेस हाईकमान ने दिल्ली में अपने नेताओं के साथ मैराथन मंथन किया. इंदिरा गांधी भवन में हुई बैठक में उन 12 राज्यों के नेता शामिल हुए जहां एसआईआर लागू किया गया है. बैठक में नेताओं ने राहुल गांधी और अध्यक्ष खड़गे को कईं अहम सुझाव दिए की कैसे इस मुद्दे पर अब आगे जंग लड़ी जाए.
-SIR को लेकर कांग्रेस हुई अलर्ट
-दिल्ली में राहुल गांधी का 12 राज्य-केन्द्र शासित प्रदेश के नेताओं के साथ महामंथन
-हाईकमान ने सदन से लेकर सड़क तक लड़ाई और तेज करने का लिया फैसला
-दिसंबर के पहले हफ्ते में दिल्ली में होगी एक विशाल रैली
-राजस्थान सहित तमाम राज्यों के नेता और कार्यकर्ता रैली में होंगे शामिल
-संसद के दोनों सदनों में भी कांग्रेस इस मुद्दे को उठाएगी मजबूती से
-विधायक,सांसदों,जिला अध्यक्ष.ब्लॉक अध्यक्ष और बीएलए को कांग्रेस देगी खास निर्देश
-SIR प्रक्रिया पर कांग्रेस नेता अब रखेंगे पैनी नजर
बैठक में कांग्रेस नेताओं ने इस प्रक्रिया को लेकर कई अहम सुझाव दिए. कांग्रेस नेताओं का साफ कहना है कि एसआईआर टार्गेट करके वोटों को काटने की प्रक्रिया है. इसके जरिए वोटर का मतदान का अधिकार छिना जा रहा है. चुनाव आयोग का पूरी तरह आज राजनीतिकरण हो चुका है. लिहाजा कांग्रेस पार्टी अपने कर्तव्य का निर्वहन करते हुए इसके खिलाफ चुप नहीं बैठेगी.
बैठक में तय हुआ कि अपने बूथ लेवल एजेंट को इस प्रक्रिया को लेकर अलर्ट रखना होगा. बाकी अन्य नेता भी उनके संपर्क में रहते हुए जागरूक रहेंगे. बैठक में राजस्थान प्रभारी रंधावा,सचिन पायलट,गोविंद डोटासरा, जितेन्द्र सिंह, टीकाराम जूली, हरीश चौधरी और धीरज गुर्जर मौजूद रहे. कुल मिलाकर कह सकते है भले ही कांग्रेस बिहार में चुनाव हार गई हो लेकिन राहुल गांधी तो फिलहाल इस मुद्दे को नहीं छोड़ने वाले है. आगे भी प्रेस कॉन्फ्रेंस के जरिए उनके खुलासे जारी रहेंगे.